यह भी पढ़ें- पूरे प्रदेश में भाजपा ने डर का माहौल बनाया : सतीश चन्द मिश्रा ग्रेटर नोएडा के जेवर टोल प्लाजा के पास सिकंदराबाद-जेवर अंडरपास पर हजारों की संख्या में किसान इकट्ठे हुए। किसानों के हौसलों पर नोएडा में लगातार हो रही बारिश भी असर नहीं दिखा पाई। महापंचायत में पांच हजार से ज्यादा लोग मौजूद थे। महापंचायत को देखते हुए भारी पुलिस व्यवस्था की गई थी। भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश सिंह टिकैत ने किसानों की महापंचायत को संबोधित करते हुए कहा कि जब तक सरकार नए कृषि कानूनों को वापस नहीं लेगी, तब तक किसान घर वापसी नहीं करेंगे। राकेश टिकैत ने कहा कि यह समय कदम से कदम मिलाकर किसान हित में चल रही लड़ाई को लड़ने का है। आंदोलन में भाग ले रहे किसानों की मांगों को अगर सरकार नहीं मानती और काले कानून को वापस नहीं लेती तो विधानसभा चुनाव में जनता उसे सबक सिखा देगी। इसके साथ ही टिकैत ने कहा कि लखनऊ हमारा है, किसानों का है, किसी के बाप की जागीर नहीं है।
भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश के स्थानीय किसानों के मुद्दे जिनमें जमीन का मुआवजा, 10 प्रतिशत भूखंड दिए जाने और आबादी के जमीन निस्तारण की मांग को भी महापंचायत में उठाया। उन्होंने कहा कि यह बीजेपी की सरकार नहीं है। यह मोदी की सरकार है, जिसे कुछ कंपनियां चला रही हैं। अगर यह बीजेपी के सरकार होती तो किसानों से जरूर बात करती, लेकिन मोदी सरकार कुछ कंपनियां चला रही हैं वह किसी से बात नहीं करती हैं। बीजेपी के नेताओं के किसानों को मवाली कहे जाने पर टिकैत ने कहा कि यह उनकी मानसिकता है। वे चाहते हैं इन्हें गाली- गलौज करके हताश करके भगा दो, लेकिन आंदोलन जारी रहेगा। जवान कभी सीमा पर हार के वापस नहीं आया है। या तो वह कफन में लिपट कर आया या वह छुट्टी पर आया है।