नगर पंचायत चेयरमैन को फंसाने की रची साजिश मुस्ताक अहमद के खिलाफ अपहरण, बंदी बनाने और लूट की झूठी रिपोर्ट दर्ज कराने के आरोप में Greater Noida पुलिस ने अमरूद्दीन को गिरफ्तार किया है। अमरूद्दीन ने बादलपुर थाने (Badalpur Thana) में कन्नौज के समधन गुरसहायगंज नगर पंचायत चेयरमैन मुस्ताक अहमद और अन्य के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई थी। आरोप लगाया कि 22 अक्टूबर (October) को उसे अगवा कर एक कमरे में बंदी बनाकर रखा गया। बाद में र्स्कोपियो (Scorpio) गाड़ी में इधर-उधर घुमाकर बादलपुर थाना क्षेत्र में बाईपास पर फेंक दिया गया। इससे पहले उसके पैरों में जंजीर बांधी गई और कीलें ठोंक दी गई थीं।
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यह थी योजना एसपी ग्रामीण रणविजय सिंह ने बताया कि अमरूद्दीन योजना बनाकर 21 अक्टूबर को अपने घर से चला था। ट्रेन से कानपुर पहुंचकर वह सूर्या होटल में कमरा नंबर 203 में रुका। वह वहां से बिना चेकआउट किए 22 अक्टूबर की सुबह कानपुर से लखनऊ पहुंचा। वहां राज्य मानावाधिकार आयोग में प्रार्थना पत्र देकर रिसीविंग प्राप्त की। यह भी पढ़ें
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डीजीपी ऑफिस में दिया प्रार्थनापत्र उसके बाद उसने डीजीपी आफिस में प्रार्थना पत्र दिया। वहां से अपने मोबाइल को कॉल फाॅरवर्डिंग पर लगाकर वापस कानपुर आकर होटल सूर्या में उसी कमरे में रुका। 23 अक्टूबर की शाम को कानपुर स्टेशन पर हैदराबाद की ट्रेन में बैठ गया और 24 अक्टूबर की रात में हैदराबाद पहुंच गया। वहां से 26 अक्टूबर की सुबह ट्रेन पकड़कर 27 को दिल्ली आ गया। फिर निजामुद्दीन रेलवे स्टेशन से आनंद विहार बस स्टैंड पहुंचा और वहां से ताला, जंजीर व दों कीलें खरीदीं। ये आरोप लगाए 27 अक्टूबर को दिवाली (Diwali) वाली रात करीब तीन बजे वह फर्रुखाबाद डिपो की बस में चढ़ा और बादलपुर थाना क्षेत्र में दादरी बाईपास पर सुनसान जगह देखकर उतर गया। 28 की अलसुबह उसने वहां झाड़ियों में जाकर अपने पैर जंजीर से बांधकर ताला लगा दिया। पास में पड़े पत्थर के टुकड़े से उसने अपने दोनों पैरों में कीलें ठोंक ली। इसके बाद वह खिसक कर सड़क किनारे आ गया। वहां पर लोगों ने उसे देखकर 100 नंबर पर सूचना दी। एसपी देहात का कहना है कि घटनास्थल से पत्थर व ताले की तीन चाबियों का गुच्छा बरामद किया गया है। जांच में मुस्ताक अहमद व अन्य लोगों के खिलाफ लगाए गए आरोप झूठे पाए गए हैं।