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दरअसल में उत्तर प्रदेश में लाईसेंस हथियार की बढ़ती संख्या को देखते हुए हाईकोर्ट ने प्रदेश में लाईसेंस जारी करने पर रोक लगा दी थी। रोक के दौरान कुछ ही श्रेणियों में लाईसेंस जारी किए जा रहे थे। इनमें अपराध पीड़ित, निशानबाज आदि को ही लाईसेंस दिए गए थे। बाकी के आवेदनों को कैंसिल कर दिया जाता था। लेकिन एक बार फिर से शासन ने रोक हटाते हुए शस्त्र लाईसेंस बनवाने के आदेश जारी कर दिए है। उधर लाईसेंस से रोक हटने के बाद में आवेदकों ने शस्त्र के लिए अप्लाई करना शुरू कर दिया है। सिटी मजिस्ट्रेट गुंजा सिंह ने बताया कि शस्त्र लाईसेंस से रोक हटने का शासनादेश मिल गया है। शस्त्र लाईसेंस बनाने में वरीयता के अलावा अन्य को लाईसेंस मिलेगा या नहीं, शासन से यह स्पष्ट किया जा रहा है।
ये है जरुरी कागजात गन या बंदूक का लाइसेंस लेने के लिए कई प्रकार के डॉक्यूमेंट देने की जरूरत होती है। अपनी पहचान, आपका पता और आपकी फिटनेस प्रूफ तो देना ही होता है। साथ ही यह भी बताना होता है कि कौन सी बंदूक लेना चाहते हैं। दो पासपोर्ट साइज फोटो, वोटर ID और उसके साथ-साथ पिछले 3 साल की इनकम टैक्स रिटर्न का की पूरी जानकारी भी देनी होती है। इसके अलावा दो अच्छे आदमियों से करैक्टर सर्टिफिकेट, फिजिकल फिटनेस सर्टिफिकेट, पढ़ाई का सर्टिफिकेट की कॉपी, जन्म प्रमाण पत्र की फोटो कॉपी देेनी होती है। साथ ही यह भी बताना होगा कि आप अपने पास बंदूक या गन किस लिए लेना चाहते है। इनके अलावा यह भी साबित करना होगा कि बंदूक जरूरी क्यों है। लाइसेंस के लिए अप्लाई करते समय ये सभी डाक्यूमेंट्स लगाने होते है।
इन्हें मिलेगी वरीयता अपराध पीड़ित
विरासत
व्यापारी/उद्यमी
बैंक/संस्थागत/वितीय संस्थान
विभिन्न विभागों के ऐसे कर्मी, जो प्रवर्तन में कार्यरत हैं
सैनिक/अर्धसैनिक/पुलिसबल के कर्मी
एमएलए/एमएलसी/एमपी
राज्य/राष्ट्रीय/अंर्तराष्ट्रीय स्तर के निशानेबाज
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