हम आपको बजट बनने से लेकर पेश होने की पूरी प्रक्रिया बता रहे हैं।
•Jan 23, 2018 / 01:13 pm•
आलोक कुमार
सर्कुलर से शुरुआत
बजट निर्माण की प्रक्रिया सितंबर माह से शुरू हो जाती है। सबसे पहले सभी मंत्रालयों और विभागों को सर्कुलर भेजा जाता है। जिसके जवाब में आगामी वित्तीय वर्ष के अपने-अपने खर्च, विशेष परियोजनाओं का ब्यौरा और फंड की आवश्यकता की जानकारी देनी होती है। यह बजट की रूपरेखा के लिए एक आवश्यक कदम हैं।
टैक्स पर जोड़-घटाव
नवंबर माह में वित्त मंत्रालय के अधिकारी नॉर्थ ब्लॉक में सभी हित धारकों के साथ टैक्स को लेकर परामर्श शुरू करते हैं। इसके बाद अधिकारी इसको फाइनल रूप देते हैं।
गोपनियता सर्वोपरि
बजट की सूचनाएं लीक न हो इसके लिए वित्त मंत्रालय के शीर्ष अधिकारी, विशेषज्ञ, प्रिंटिंग टेक्निशियन और स्टेनोग्राफर्स नॉर्थ ब्लॉक में एक तरह से कैद में रहते हैं और आखिरी के सात दिनों में तो बाहरी दुनिया से एकदम कट जाते हैं। वे परिवार से भी बात नहीं कर सकते हैं। इंटेलिजेंस ब्यूरो के अधिकारी बजट बनाने वाली टीम की गतिविधियों और फोन कॉल्स पर नजर रखते हैं।
बजट भाषण की प्रिंटिंग प्रक्रिया
वित्त मंत्री का भाषण बजट का सबसे सुरक्षित दस्तावेज होता है। बजट की घोषणा होने के दो दिन पहले सह मध्यरात्रि में प्रिंटर्स को सौंपा जाता है। बजट पेपर वित्त मंत्रालय में स्थित प्रेस में तैयार होते हैं।
ऐसे होती है बजट की प्रस्तुति
इस बार बजट 1 फरवरी को पेश किया जाएगा। सरकार को इसके लिए राष्ट्रपति की मंजूरी लेनी होगी। संसद के दोनों सदनों में बजट रखने से पहले इसे यूनियन कैबिनेट के सामने रखना होता है।
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