विधानसभा चुनाव 2018 में बीएसपी के टिकट पर 6 विधायक चुनाव जीते थे। लेकिन बाद में पाला बदलकर कांग्रेस में शामिल हो गए थे। आकाश आनंद की इस बार रणनीति ये है कि बसपा का कोई भी विधायक कांग्रेस में शामिल नहीं पाए। आकाश आनंद की टीम का फोकस जिताऊ उम्मीदवारों पर है। राजस्थान में चुनावी मुद्दे क्या है। बसपा की राज्य में क्या स्थिति है। किन सीटों पर बसपा के उम्मीदवार जिताऊ है। इन तमाम बिंदुओं को लेकर आकाश आनंद की टीम ने हाल ही में सर्वे कराया है।
वहीं भाजपा चुनाव में सीधी लड़ाई की मजबूत रणनीति बनाने में जुटी है। राष्ट्रीय मुख्यालय में भाजपा नेतृत्व के साथ बैठक में वसुंधरा राजे की उपस्थिति में राजस्थान चुनाव अभियान के लिए किसी को चेहरा बनाया जाए या केंद्र की योजनाओं और पीएम के चेहरे पर चुनाव लड़ा जाए, इस पर विचार-मंथन फिर से शुरू किया गया है। बता दें कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अजमेर दौरे के दौरान वसुंधरा राजे ने मंच साझा किया था।