ग्रेजुएशन की पढाई माँ की शर्त पर
करीब पांच साल पहले एक अंग्रेजी अखबार को दिए एक इंटरव्यू में इरफान खान ने बताया था कि उन पर करियर का कोई दबाव नहीं था। बस उनकी मां की चाहती थी कि इरफान किसी भी तरह ग्रेजुएशन पास कर लें। इंटरव्यू के दौरान इरफान ने बताया था कि उनकी मां की शर्त थी कि वह पहले ग्रेजुएशन करें और बाद में अपने सपने साकार करने की तरफ ध्यान दें। इरफान हमेशा से एक्टिंग की दुनिया में जाना चाहते थे, इसलिए उन्होंने अपनी माँ का सपना पूरा किया। लेकिन एक सफल अभिनेता बनने के बाद इरफान ने बताया कि एक्टिंग करियर में ग्रेजुएशन की डिग्री कहीं भी काम नहीं आई।
वह एक क्रिकेटर बनना चाहते थे लेकिन उनके माता-पिता ने इसे अस्वीकार कर दिया था। इसके बाद मानो भाग्य के झटके से उन्हें NSD (नेशनल स्कूल ऑफ़ ड्रामा) में भाग लेने के लिए प्रोत्साहित किया और उन्हें छात्रवृत्ति भी मिल गई थी। वे उस समय जयपुर में एमए कर रहे थेl उन्होंने थिएटर स्कूल में एडमिशन लेने के लिए अनुभव को लेकर झूठ बोला था।
साल 1998 में फिल्म सलाम बॉम्बे से करियर शुरू करने वाले इस एक्टर के बारे में किसी ने नहीं सोचा था कि वो हॉलीवुड तक को अपनी एक्टिंग का दीवाना बना देगा। हॉलीवुड में उन्होंने माइटी हार्ट और जुरासिक पार्क जैसी ऐतिहासिक फिल्मों में काम किया।