12वीं में फिजिक्स और मैथ्स का होना जरूरी
इस क्षेत्र में करियर बनाने के लिए आपका शुरुआत से ही पढ़ने में अच्छा होना जरूरी है। ऐसा समझ लीजिए कि ISRO के साथ काम करना है तो आपका शैक्षणिक रिकॉर्ड (Education Qualification) अच्छा होना चाहिए। कैंडिडेट्स की बोर्ड परीक्षा में भी अच्छे अंक होने चाहिए। 10वीं के बाद 12वीं में साइंस स्ट्रीम होना जरूरी है। इस फील्ड में जाने के लिए पीसीएम (फिजिक्स, केमिस्ट्री और मैथ्स) से करें। यह भी पढ़ें
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12वीं के बाद क्या करें (Career Options After 12th)
12वीं के बाद जेईई मेन्स और एडवांस परीक्षा में अच्छा स्कोर करके आप आईआईटी में दाखिला ले सकते हैं। इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (बॉम्बे), आईआईटी (खड़गपुर), आईआईटी (कानपुर) आदि में दाखिला ले कर आप यहां से बीटेक कर सकते हैं। यह भी पढ़ें- आखिरी के दो दिनों में इन 5 टिप्स की मदद से करें UPSC CSE की तैयारी, हर हाल में पास कर लेंगे परीक्षा
कौन सा कोर्स कर सकते हैं
- बीटेक इन एयरोस्पेस इंजीनियरिंग
- बीटेक इन एवियॉनिक्स इंजीनियरिंग
- बैचलर्स इन फिजिक्स
- एमटेक इन इलेक्ट्रॉनिक्स, इलेक्ट्रिकल, मैकेनेकिल और कंप्यूटर साइंस
कैसे मिलेगी ISRO में प्रवेश
इसका सबसे पहले तरीका है कि आप संबंधित विषय में डिग्री हासिल करें और फिर प्लेसमेंट के समय कंपनी आपको सेलेक्ट करेगी। आईआईएससी, आईआईटी और एनआईटी के मेधावी ग्रेजुएट्स की इसरो में डायरेक्ट भर्तियां की जाती है। फिजिक्स, इलेक्ट्रॉनिक्स एवं कम्युनिकेशन, एयरोस्पेस और मकैनिकल फील्ड वालों को प्राथमिकता दी जाती है। वहीं दूसरा तरीका है, डायरेक्ट भर्ती का। इसरो द्वारा समय समय पर भर्ती परीक्षा का आयोजन किया जाता है, जिसका नाम है इसरो सेंट्रलाइज्ड रिक्रूटमेंट बोर्ड एग्जाम, ICRB। हालांकि, इस परीक्षा में सिर्फ कंप्यूटर साइंस, मकैनिकल एवं इलेक्ट्रोनिक स्ट्रीम से बीई, बीटेक, बीएससी करने वाले उम्मीदवार ही शामिल हो सकते हैं।