चीन को सता रही चिंता चीन की सरकार के आंकड़ों के मुताबिक सकल घरेलू उत्पाद ( GDP ) की वृद्धि दर पहली तिमाही के 6.4 फीसदी से घटकर 6.2 फीसदी पर आ गयी है। जीडीपी की यह वृद्धि दर दूसरी तिमाही में पिछले 27 साल में सबसे कम है। इससे चीन में काफी चिंता पैदा हो गयी है क्योंकि देश की आर्थिक वृद्धि की रफ्तार 2009 में वैश्विक आर्थिक संकट के समय भी 6.4 फीसदी से नीचे नहीं आयी थी।
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दुनियाभर में हो सकता है मंदी का खतरा एक्सपर्ट के मुताबिक अमरीका-चीन के बीच ट्रेड वॉर जारी रहा तो दुनियाभर में मंदी का खतरा है। ट्रेड वॉर का असर भारत और उसके पड़ोसी देशों पर भी देखने को मिल रहा है। इसके साथ ही जापान के मिजुहो बैंक के एशिया एंड ओसेनिया इकोनॉमिक्स हेड विष्णु वराथन का कहना है कि अप्रैल-जून तिमाही में चीन की कमजोर ग्रोथ का असर बाकी एशिया पर भी पड़ सकता है। चीन के एक्सपोर्ट के साथ ही इम्पोर्ट में गिरावट ज्यादा चिंता की बात है क्योंकि, एशिया के बाकी देशों के लिए चीन प्रमुख बाजार है।
NBS के प्रवक्ता ने दी जानकारी चीन के राष्ट्रीय सांख्यिकी ब्यूरो ( NBS ) द्वारा जारी आंकड़े के मुताबिक पहली छमाही में चीन का सकल घरेलू उत्पाद सालाना आधार पर 6.3 फीसदी बढ़कर 45,090 अरब युआन ( करीब 6,560 अरब डॉलर ) की हो गई है। एनबीएस के प्रवक्ता माओ शेंगयोंग ने कहा, ”घरेलू एवं विदेशी मोर्चे पर अर्थव्यवस्था की स्थिति अब भी गंभीर बनी हुई है। वैश्विक अर्थव्यवस्था में नरमी आ रही है और बाह्य अस्थिरता एवं अनिश्चितताएं बढ़ रही हैं।”
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