शियाटिका: अरंड के तेल में बैंगन की सब्जी बनाकर खाएं। खांसी होने पर बैंगन का भुर्ता खाएं।
लकवा : छोटे बैंगन की सब्जी खाएं। कफ के साथ दमा होने पर बड़े बैंगन की सब्जी प्रयोग करें।
कब्ज और एसिडिटी: बैंगन का रायता खाने से लाभ होता है।
लिवर व आंतों के रोग: लंबे बैंगन का प्रयोग फायदा करेगा।
सूजन,घाव, मोच व दर्द : बैंगन को तवे पर गर्म करके सेक करें, फौरन लाभ मिलता है।
गर्भावस्था: गर्भवती महिलाओं को आयरन व कैल्शियम की पूर्ति के लिए बैंगन का रायता खाना चाहिए।
संक्रमण : इसमें मौजूद क्लोरोजेनिक प्रतिरोधी क्षमता बढ़ाता है। इससे संक्रमण की आशंका कम होती है।
लकवा : छोटे बैंगन की सब्जी खाएं। कफ के साथ दमा होने पर बड़े बैंगन की सब्जी प्रयोग करें।
कब्ज और एसिडिटी: बैंगन का रायता खाने से लाभ होता है।
लिवर व आंतों के रोग: लंबे बैंगन का प्रयोग फायदा करेगा।
सूजन,घाव, मोच व दर्द : बैंगन को तवे पर गर्म करके सेक करें, फौरन लाभ मिलता है।
गर्भावस्था: गर्भवती महिलाओं को आयरन व कैल्शियम की पूर्ति के लिए बैंगन का रायता खाना चाहिए।
संक्रमण : इसमें मौजूद क्लोरोजेनिक प्रतिरोधी क्षमता बढ़ाता है। इससे संक्रमण की आशंका कम होती है।
दांत दर्द में फायदेमंद
बैंगन के रस का इस्तेमाल दांत दर्द में दर्द निरोधक की तरह काम करता है। इसके रस से दांतों के दर्द में आराम मिलता है।साथ ही इसकी जड़ का इस्तेमाल अस्थमा की रोकथाम में भी किया जाता है।
बैंगन के रस का इस्तेमाल दांत दर्द में दर्द निरोधक की तरह काम करता है। इसके रस से दांतों के दर्द में आराम मिलता है।साथ ही इसकी जड़ का इस्तेमाल अस्थमा की रोकथाम में भी किया जाता है।
वजन कम करने में
बैंगन कैलोरी जलाने का काम करता है। साथ ही ये फाइबर से युक्त होता है। बैंगन से बनी कुछ भी चीज खाने से भारीपन महसूस होता है। जिसकी वजह से शख्स कम खाना खाता है। ऐसे में वजन कम करने वालों के लिए ये एक अच्छा आहार है।
बैंगन कैलोरी जलाने का काम करता है। साथ ही ये फाइबर से युक्त होता है। बैंगन से बनी कुछ भी चीज खाने से भारीपन महसूस होता है। जिसकी वजह से शख्स कम खाना खाता है। ऐसे में वजन कम करने वालों के लिए ये एक अच्छा आहार है।