आहार विशेषज्ञाें के अनुसार सूजी, मैदा, आटा और जौ के मिश्रण से बनी सेवइयां मार्केट में मिलने वाले नूडल्स से बेहतर हैं। घर में बनी सेवइयों में फाइबर होता है जिससे एसिडिटी, अपच या कब्ज नहीं होती। अजवायन मिलाकर इसका आटा तैयार करने से गैस्ट्रिक समस्या नहीं होती। सौंफ से शरीर में ठंडक बनी रहती है और कालीमिर्च मिलाने से मेटाबॉलिक दर में सुधार होकर आंखों की रोशनी तेज होती है।
ये रखें ध्यान
सेवइयों को बनाते समय इनमें मटर, गाजर, पालक, टमाटर, प्याज, मशरूम, सेम, आलू, गोभी व शिमलामिर्च जैसी चीजें मिलाकर इसके पोषक तत्वों को बढ़ाया जा सकता है। इन सेवइयों को एक से दो हफ्ते से ज्यादा प्रयोग न करें वर्ना उसकी गुणवत्ता और पोषक तत्वों में कमी आने लगती है। ब्लड प्रेशर और डायबिटीज में इनका प्रयोग सीमित मात्रा में करें।
सेवइयों को बनाते समय इनमें मटर, गाजर, पालक, टमाटर, प्याज, मशरूम, सेम, आलू, गोभी व शिमलामिर्च जैसी चीजें मिलाकर इसके पोषक तत्वों को बढ़ाया जा सकता है। इन सेवइयों को एक से दो हफ्ते से ज्यादा प्रयोग न करें वर्ना उसकी गुणवत्ता और पोषक तत्वों में कमी आने लगती है। ब्लड प्रेशर और डायबिटीज में इनका प्रयोग सीमित मात्रा में करें।