सेज की पत्तियां :
इसे तेजपत्ता भी कहते हैं। इसकी ताजी व सूखी दोनों पत्तियां शरीर से विषैले पदार्थों को बाहर निकालती हैं। सब्जी में तड़का लगाते समय इसका प्रयोग करें। तुलसी की पत्तियां :
थकान हो या सांस से दुर्गंध आने पर तुलसी की 3-4 पत्तियां खाएं। दाद, खुजली या अन्य त्वचा संबंधी रोग होने पर तुलसी के पत्तों का रस निकालकर लगाने से फायदा होता है। अदरक, मुलैठी और तुलसी के पत्तों को पीसकर शहद के साथ खाने से खांसी व जुकाम की समस्या दूर होती है।
इसे तेजपत्ता भी कहते हैं। इसकी ताजी व सूखी दोनों पत्तियां शरीर से विषैले पदार्थों को बाहर निकालती हैं। सब्जी में तड़का लगाते समय इसका प्रयोग करें। तुलसी की पत्तियां :
थकान हो या सांस से दुर्गंध आने पर तुलसी की 3-4 पत्तियां खाएं। दाद, खुजली या अन्य त्वचा संबंधी रोग होने पर तुलसी के पत्तों का रस निकालकर लगाने से फायदा होता है। अदरक, मुलैठी और तुलसी के पत्तों को पीसकर शहद के साथ खाने से खांसी व जुकाम की समस्या दूर होती है।
सहजना
सहजना के पत्तों का काढ़ा पीने से बुखार जल्दी ठीक होता है। महिलाएं यदि सहजना का जूस पीएं तो प्रसव में आसानी होती है। गुड़हल
गुड़हल की पत्तियों को पीसकर बालों में लगाएं। यह कंडीशनर का काम करती हैं। इसकी पत्तियों को सुखाकर नारियल के तेल के साथ सिर की मालिश करने से बाल नहीं झड़ते।
सहजना के पत्तों का काढ़ा पीने से बुखार जल्दी ठीक होता है। महिलाएं यदि सहजना का जूस पीएं तो प्रसव में आसानी होती है। गुड़हल
गुड़हल की पत्तियों को पीसकर बालों में लगाएं। यह कंडीशनर का काम करती हैं। इसकी पत्तियों को सुखाकर नारियल के तेल के साथ सिर की मालिश करने से बाल नहीं झड़ते।