सोमवार को अखिल भारतीय सफाई मजदूर कांग्रेस के ब्लॉक अध्यक्ष जसवन्त सिंह साहू के नेतृत्व में अधिशाषी अधिकारी व तहसीलदार, अध्यक्ष नगरपालिका को ज्ञापन देकर वर्षों से कार्यालयों में जमकर बैठे ऐसे कार्मिकों को मूल पद पर भेजने की मांग एक बार फिर मुखर की। साहू ने बताया कि इस संबंध निदेश स्तानीय निकाय विभाग की ओर से आधा दर्जन से अधिक कड़े निर्देश जारी कर ऐसे कार्मिकों के वेतन को रोकने के भी निर्देश जारी किए है लेकिन इन्हें नियुक्ति दिनांक से आज तक मूल पदानुसार कार्य नही किया है।
फिर भी उपरोक्त द्वारा पूर्ण वेतन लिया जा रहा है। वाल्मिकी सफाई कर्मियों के साथ असमानता का एवं जातिगत भेदभाव किया जा रहा है। साथ ही एक ऐसे ही सफाई कर्मचारी को तो नियम विरुद्ध आरक्षण के विपरीत पदोन्नति भी दे दी गई है। जो को बेहद गंभीर मामला है। साहू ने मांग की कि वित्तीय वर्ष 2023-24 की जमादार पद की पदौन्नति की समीक्षा भी अब तक नही की गई है जिससे सफाई कार्मिकों में बेहद नाराजगी है।
सफाई कर्मियों ने कहा कि हम पिछले कई वर्षों से इस मुद्दे पर स्थानीय स्तर से निदेशालय स्तर तक लिखित शिकायतें कर अपने ऊपर हो रहे भेदभाव से निजात दिलाने की मांग कर रहे हैं। सरकार स्तर से इस संबंध में आदेश निर्देश भी कई बार आ चुके हैं, उसके बाद भी स्थानीय स्तर पर मिलीभगत से इन आदेशों पर कार्यवाही न होना सरकार की मंशा पर तो सवाल खड़े कर ही रहा है। हम गरीबों के सब्र का इतिहान भी लिया जा रहा है। आखिर कब तक हम इस भेदभाव को सहन करेंगे। अगर हमारे सब्र का बांध टूट गया तो फिर बड़ी समस्या खड़ी हो जाएगी।