(1)- गाय के दुध से अभिषेक
सभी प्रकार के की समस्याओं के निवारण के लिए एवं शिव को प्रसन्न कर उनका आशीर्वाद प्राप्त करने के लिए गाय के ताजे और कच्चे दूध से अभिषेक करें । भगवान शिव के ‘प्रकाशमय’ स्वरूप का मानसिक ध्यान करते हुए चांदी या स्टील के पात्र से अभिषेक करें । ध्यान रखे कि जब दूध से अभिषेक किया जा रहा हो तो तांबे के बर्तन उपयोग भूलकर भी नहीं करें, और ना ही तांबे के बरतन में दूध, दही या पंचामृत आदि रखें । क्योंकि तांबे के साथ दूध का संपर्क दूध को विष बना देता है इसलिए तांबे के पात्र में दूध का अभिषेक बिल्कुल वर्जित होता है । क्योंकि तांबे के पात्र में दूध अर्पित या उससे भगवान शंकर को अभिषेक कर उन्हें अनजाने में आप विष अर्पित करते हैं ।
1- ॐ श्री कामधेनवे नम: मंत्र का जप करते हुए अभिषेक वाले पात्र में लाल कलावा बाधें ।
2- शिव पंचाक्षरी मंत्र ॐ नम: शिवाय’ का जप करते हुए लाल फूलों की कुछ पंखुडियां अर्पित करें ।
3- शिवलिंग पर गाय के दूध की पतली धार बनाते हुए-रुद्राभिषेक करें ।
4- अभिषेक करते हुए ॐ सकल लोकैक गुरुर्वै नम: मंत्र का जप करते रहे ।
5- अभिषेक पूर्ण होने पर शिवलिंग को शुद्ध जल से धोकर साफ वस्त्र से अच्छी तरह पोछ लें ।
(2)- फलों के रस से अभिषेक करें
1- अखंड धन लाभ व हर तरह के कर्जो से मुक्ति के लिए भगवान शिव का फलों के रस से अभिषेक करें ।
2- अभिषेक करते हुए भगवान शिव के ‘नील कंठ’ स्वरूप का मानसिक ध्यान करें ।
3- ताम्बे के पात्र में ‘गन्ने का रस’ भर कर पात्र को चारों और से कुमकुम का तिलक करें ।
4- ॐ कुबेराय नम: मंत्र का जप करते हुए पात्र पर लाल कलावा बाधें ।
5- पंचाक्षरी मंत्र ॐ नम: शिवाय का जप करते हुए लाल फूलों की कुछ पंखुडियां अर्पित करें ।
6- शिवलिंग पर फलों के रस की पतली धार बनाते हुए- महारुद्राभिषेक करें ।
7- अभिषेक करते हुए -ॐ ह्रुं नीलकंठाय स्वाहा मंत्र का मानसीक जप करते रहे ।