धर्म-कर्म

Mahakumbh 2025: महाकुंभ में पवित्र स्नान के लिए ये 5 दिन हैं सबसे खास, धुल जाएंगे पाप

Mahakumbh 2025: महाकुंभ के दौरान पवित्र स्नान के लिए पांच दिन विशेष महत्वपूर्ण हैं, जो व्यक्ति इन दिनों पर संगम मे डुबकी लगाएगा उसको शुभ फल की प्राप्ति होगीष

प्रयागराजDec 21, 2024 / 05:50 pm

Sachin Kumar

Mahakumbh 2025

Mahakumbh 2025: महाकुंभ 2025 का भव्य मेला प्रयागराज में लगने जा रहा है। इसको लेकर तैयारियां जोरों पर हैं। वहीं इस भव्य और विशाल धार्मिक आयोजन में देश-विदेश से करोड़ों श्रद्धालु शामिल होने के लिए उत्साहित हैं। मान्यता है कि महाकुंभ के दौरान संगम में स्नान करने से व्यक्ति के सभी पाप दूर हो जाते हैं। आइए जानते हैं महाकुंभ के दौरान कौन से 5 दिन स्नान के लिए सबसे पवित्र हैं?

मकर संक्रांति (makar sankranti)

इस दिन महाकुंभ में स्नान करने का धार्मिक और आध्यात्मिक तौर पर विशेष महत्व है। क्योंकि इस दिन से सूर्यदेव मकर राशि में प्रवेश करते हैं। इस दिन पवित्र नदियों में स्नान करना हिंदू धर्म में अत्यंत पवित्र और शुभ माना जाता है। मकर संक्रांति के दिन गंगा, यमुना और अदृश्य सरस्वती के संगम तट पर स्नान करने करने से व्यक्ति को पापों से मुक्ति मिलती है। इसके साथ ही आत्मा की शुद्धि और मोक्ष की प्राप्ति का मार्ग प्रशस्त होता है।

मौनी अमावस्या (Mauni Amavasya)

मौनी अमावस्या का दिन हिंदू धर्म में अत्यंत पवित्र और महत्वपूर्ण माना गया है। क्योंकि यह दिन आत्मचिंतन, मौन और आध्यात्मिक शुद्धिकरण के लिए सबसे अच्छा दिन माना जाता है। इस शुभ दिन पर महाकुंभ में स्नान करना धार्मिक दृष्टि से बहुत फलदायी होता है। मान्यता है कि मौनी अमावश्या के दिन पवित्र नदियों में स्नान करना व्यक्ति के विचारों का सुद्ध करता है और साथ ही नकारात्मता को दूर करता है। यह शुभ दिन आत्मचिंतन का प्रतीक माना जाता है।

बसंत पंचमी (Basant Panchami)

बसंत पंचमी के दिन महाकुंभ में स्नान करने से व्यक्ति को मोक्षदायक फल की प्राप्ति होती है। ऐसा कहा जाता है कि इस दिन गंगा, यमुना और अदृश्य सरस्वती के संगम में स्नान से मनुष्य को सभी समस्त पापों धुल जाते हैं और भगवान के प्रति अटूट आस्था का भाव जाग्रत होता है। इस दिन देवी सरस्वती की पूजा और पवित्र नदी में स्नान का यह संयोग भक्तों के लिए विशेष फलदायी माना जाता है।

माघ पूर्णिमा (Magh Purnima)

महाकुंभ के दौरान माघ पूर्णिमा का स्नान अत्यंत पवित्र और विशेष फलदायी माना गया है। मान्यता है कि यह दिन भगवान विष्णु और माता लक्ष्मी की कृपा प्राप्ति का समय होता है। इस दिन पवित्र गंगा, यमुना और सरस्वती के संगम में स्नान करने से जीवन के समस्त दुख दूर होते हैं और साथ ही व्यक्ति को मोक्ष की प्राप्ति का मार्ग मिलता है।

महाशिवरात्रि (Mahashivratri)

महाशिवरात्रि का पर्व देवों के देव महादेव को समर्पित है। इस पर्व के दौरान महाकुंभ में स्नान करने से व्यक्ति के समस्त दुख और पाप नष्ट होते हैं। मान्यता है कि इस शुभ और पवित्र दिन पर भगवान शंकर की उपासाना करने से भक्तों की हर मनोकामना पूर्ण होती है। उनको भगवान का विशेष आशीर्वाद प्राप्त होता है। जिससे उनके जीवन में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है और शांति मिलती होती है। साथ ही आत्मा का शुद्धिकरण होता है।
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