16 दिसंबर 2019 दिन रविवार से सूर्य का धनु राशि में प्रवेश करते ही खरमास लग जायेगा । वैसे तो खरमास में किसी भी तरह के शुभ कार्य जैसे- विवाह, ग्रहप्रवेश, मुंडन संस्कार नहीं किये जाते लेकिन शास्त्रों के अनुसार नीचे दिये कुछ अति आवश्यक होने पर इन कार्यों को किया जा सकता है, और इन्हें करने पर कोई दोष भी नहीं लगता ।
1- अगर किसी जातक की कुंडली में बृहस्पति धनु राशि में हो तो फिर खरमास की अशुभ अवधि में भी शुभ कार्य किये जा सकते हैं, और ये कार्य पूर्ण व सफल भी होते हैं ।
2- अति आवश्यक परिस्थिति बनने पर प्रेम-विवाह या स्वयंवर के द्वारा विवाह भी किया जा सकता है ।
3- ऐसे शुभकार्य जो पहले से ही नियमित रूप से हो रहे हों उनको करने में भी खरमास का कोई बंधन या दबाव नहीं है ।
4- अन्नप्राशन, सीमान्त और जातकर्म आदि कर्म अगर पहले से ही निर्धारित हो तो उन्हें भी खरमास की अवधि में सम्पन्न किये जा सकते हैं ।
5- अगर कोई अपने पितरों का श्राद्ध पवित्र तीर्थ गया में जाकर खरमास की अवधि में करता है तो उसकी भी मनाही नहीं है ।
उपरोक्त कार्य अगर अति आवश्यक हो तो ही खरमास में किये जा सकते है । लेकिन फिर भी प्रयास करें की खरमास या मलमास में कोई भी शुभ कार्य ना करें ।