मां दुर्गा के सिद्घ मंत्र
1- आरोग्य एवं सौभाग्य के लिए इस मंत्र का रोज 108 बार जप करें-
देहि सौभाग्यं आरोग्यं देहि में परमं सुखम्।
रूपं देहि जयं देहि यशो देहि द्विषोजहि॥
2- सर्व बाधा मुक्ति एवं धन-पुत्रादि प्राप्ति के लिए इस मंत्र का रोज 108 बार जप करें-
सर्वाबाधा विनिर्मुक्तो धन धान्य सुतान्वितः।
मनुष्यों मत्प्रसादेन भवष्यति न संशय ॥
3- गुणवान पत्नी की प्राप्ति के लिए इस मंत्र का रोज 108 बार जप करें-
पत्नीं मनोरमां देहि मनोवृत्तानुसारिणीम् ।
तारिणीं दुर्ग संसारसागस्य कुलोद्भवाम् ।।
4- दरिद्रता नाश के लिए इस मंत्र का रोज 108 बार जप करें-
दुर्गेस्मृता हरसि भतिमशेशजन्तो: स्वस्थैं: स्मृता मतिमतीव शुभां ददासि ।
दरिद्रयदुखभयहारिणी कात्वदन्या सर्वोपकारकरणाय सदार्द्रचित्ता ।।
5- ऐश्वर्य प्राप्ति एवं भय मुक्ति के लिए इस मंत्र का रोज 108 बार जप करें-
ऐश्वर्य यत्प्रसादेन सौभाग्य-आरोग्य सम्पदः ।
शत्रु हानि परो मोक्षः स्तुयते सान किं जनै ॥
6- सभी विपत्तियों के नाश के लिए इस मंत्र का रोज 108 बार जप करें-
शरणागतर्दिनार्त परित्राण पारायणे ।
सर्वस्यार्ति हरे देवि नारायणि नमोऽतुते ॥
7- शत्रु नाश के लिए इस मंत्र का रोज 108 बार जप करें-
ॐ ह्रीं बगलामुखी सर्वदुष्टानां वाचं मुखं पदं स्तंभय जिह्वाम् कीलय बुद्धिम्विनाशाय ह्रीं ॐ स्वाहा ।।
8- स्वप्न में कार्य-सिद्धि के लिए इस मंत्र का रोज 108 बार जप करें-
दुर्गे देवी नमस्तुभ्यं सर्वकामार्थसाधिके ।
मम सिद्धिमसिद्धिं वा स्वप्ने सर्वं प्रदर्शय ।।
9- सर्वविघ्नों के नाश के लिए इस मंत्र का रोज 108 बार जप करें-
सर्वबाधा प्रशमनं त्रेलोक्यस्यखिलेशवरी ।
एवमेय त्वया कार्य मस्माद्वैरि विनाशनम् ॥