इस सड़क हादसे का एक वीडियो सामने आया है। जिसमें साफ दिख रहा है कि तेज रफ्तार स्लीपर बस पहले डिवाइडर से टकराई और फिर सड़क के दूसरी तरफ चली गई। इतना ही नहीं, बस 10 फीट नीचे गिरकर पलट गई। हादसा बांदीकुई में सोमाडा गांव के पास सुबह करीब साढ़े पांच बजे हुआ। बता दें कि इसी महीने सवाईमाधोपुर में भी दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस वे पर भीषण हादसा हुआ था। जिसमें कार सवार 6 लोगों की जान चली गई थी। उस वक्त भी हादसे का रौंगटे खड़े कर देने वाला वीडियो सामने आया था।
डिप्टी सीएम दीया कुमारी ने शेयर किया वीडियो
डिप्टी सीएम दीया कुमारी ने हादसे के वीडियो शेयर करते हुए लिखा कि दौसा के बांदीकुई थाना क्षेत्र के दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे पर हुई भीषण दुर्घटना में एक युवती की मृत्यु एवं कई लोगों के घायल होने की मिली सूचना दु:खद है। प्रभु श्रीराम, दिवंगत पुण्यात्मा को शांति प्रदान करें और शोक संतप्त परिजनों को यह आघात सहन करने की शक्ति दें। मैं, घायलों के लिए शीघ्र स्वास्थ्य लाभ प्रदान करने की कामना करती हूं।
हादसे के बाद मची चीख पुकार
बता दें कि स्लीपर बस हरिद्वार से जयपुर आ रही थी। जिसमें करीब 40 से अधिक लोग सवार थे। अचानक ड्राइवर को झपकी आने से हादसा हो गया। बांदीकुई सोमाडा गांव के पास बस डिवाडर को तोड़ते हुए हाईवे के दूसरी तरफ पहुंच गई। करीब 200 मीटर रॉन्ग साइड में चलने के बाद हाईवे से करीब 10 फीट नीचे गिरकर पलट गई। हादसे के बाद मौके पर अफरा-तफरी मच गई। तेज धमाका और चीख पुकार की आवाज सुनकर आसपास के लोग दौड़कर मौके पर पहुंचे। एंबुलेंस और पुलिस को सूचना देने के साथ ही घायलों को बस से निकाला। इसके बाद घायलों को अस्पताल ले जाया गया। घायलों को पहुंचाया अस्पताल
एंबुलेंस की मदद से 25 से ज्यादा घायलों को दौसा जिला हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया। यहां एक युवती अंकिता (19) की मौत हो गई। जो बरेठा निवाई (टोंक) की रहने वाली थी। जानकारी के अनुसार सभी लोग अलग-अलग जगह के रहने वाले हैं और इसी बस से हरिद्वार गए थे। जहां से वापस लौटते समय हादसा हो गया। वहीं पुलिस की ओर से मामले की जांच की जा रही है।
हादसे रोकने के प्रयास हो रहे विफल
दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस वे पर हादसे रोकने के लिए पुलिस की ओर से सुबह 8 से शाम को 6 बजे तक ओवर स्पीड में निकलने वाले वाहनों के खिलाफ चालान कार्रवाई की जाती है। वाहनों का ऑनलाइन चालान किया जाता है। वाहन चालकों को चालान अपने रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर टेक्स्ट मैसेज के माध्यम से प्राप्त होता है। हालांकि, विभागीय प्रयास विफल साबित हो रहे हैं।