CG Naxalites Surrendered: ‘नियद नेल्ला नार’ योजना से हुए प्रेरित
यह आत्मसमर्पण ‘छत्तीसगढ़ नक्सलवाद उन्मूलन एवं पुनर्वास नीति’ और सुकमा पुलिस द्वारा चलाए जा रहे ‘नियद नेल्ला नार’ योजना से प्रेरित होकर किया गया। पुलिस द्वारा लगातार अति संवेदनशील क्षेत्रों में कैप स्थापित किए जाने और नक्सलियों की अमानवीय विचारधारा, शोषण, अत्याचार, और बाहरी नक्सलियों के भेदभाव से तंग आकर इन नक्सलियों ने मुयधारा में शामिल होने का निर्णय लिया।
(CG Naxalites Surrendered) इनामी नक्सली ने किया सरेंडर
CG Naxalites Surrendered: आत्मसमर्पित करने वाले में कुहराम बंडी आरपीसी सीएनएम अध्यक्ष, 01 लाख रुपये का इनामी व माड़वी कोसा डीएकेएमएस सदस्य शामिल है। दोनों
नक्सलियों ने सुकमा पुलिस अधीक्षक कार्यालय में निरीक्षक अरविंद पटेल, निरीक्षक अविलाष टंडन और निरीक्षक सुजीत कुमार के समक्ष आत्मसमर्पण किया।
छत्तीसगढ़ नक्सलवाद उन्मूलन एवं पुनर्वास नीति के तहत इन
आत्मसमर्पित नक्सलियों को सरकार द्वारा सहायता राशि और अन्य सुविधाएं प्रदान की जाएंगी।
तीन ने बिना हथियार किया समर्पण
गंगालूर, भैरमगढ़, और कटेकल्याण एरिया कमेटी के तीन नक्सलियों ने गुरुवार को दंतेवाड़ा स्थित डीआरजी कार्यालय में आत्मसमर्पण कर दिया। पुलिस प्रशासन द्वारा चलाए जा रहे नक्सल उन्मूलन अभियान ’लोन वर्राटू’ से प्रभावित होकर यह कदम उठाया गया है।
आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों में सुरेश माड़वी, बचलू भोगाम और हिड़मा राम पोड़ियामी शामिल है। नक्सलियों ने मुयधारा में लौटने की खुशी जताई है। छत्तीसगढ़ शासन द्वारा आत्मसमर्पित माओवादियों को पुनर्वास नीति के तहत 25-25 हजार रुपये की सहायता राशि और अन्य सुविधाएं प्रदान की जाएंगी।
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नक्सलियों के डिप्टी कमांडर ने किया सरेंडर
पुलिस के बढ़ते प्रभाव और माओवादी उन्मूलन अभियान जल्द नक्सलगढ़ खत्म होगा। धमतरी जिले में नक्सलियों के डिप्टी कमांडर ने पुलिस के समक्ष आत्मसमर्पण किया।
यहां पढ़ें पूरी खबर.. SP सहित 29 जवान हुए थे शहीद, हमले से थर्रा उठा था देश
बेहद खौफनाक मंजर था वह। प्रदेश ही नहीं बल्कि पूरा देश इस नक्सल हमले से थर्रा उठा था। यह पहली घटना थी जिसमें पुलिस कप्तान नक्सलियों से लोहा लेते हुए शहीद हुए थे।
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