दो दिन पहले गायब हुआ था आशीष सिंह जानकारी के मुताबिक, बीजेपी कार्यकर्ता आशीष सिंह दो दिन पहले मालदा से लापता हुआ था। उसकी डेड बॉडी इंग्लिश बाजार पुलिस स्टेशन के बाधापुकुर से बरामद की गई है। अपने इलाके में फेमस रहे आशीष के शरीर पर घाव के निशान हैं। कयास लगाया जा रहा है कि आशीष की बड़ी बेरहमी से हत्या की गई है। आशीष की हत्या से इलाके में हड़कंप मच गया है। वहीं, पुलिस ने डेड बॉडी को अपने कब्जे में लेकर मामले की छानबीन शुरू कर दी है।
बीजेपी का विरोध प्रदर्शन आशीष की हत्या से आक्रोशित बीजेपी कार्यकर्ताओं ने विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया है। सैकड़ों की संख्या में कार्यकर्ताओं ने पुलिस को घेर लिया है और ममता सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। वहीं, इस घटना को लेकर बड़े स्तर पर बीजेपी प्रदर्शन करेगी। लाल बाजार मार्च के दौरान बीजेपी के आला नेता इस मामले में कार्रवाई की मांग करेंगे। साथ ही पुलिस मुख्यालय का घेराव भी किया जाएगा।
मंगलवार को भी पश्चिम बंगाल के उत्तर 24 परगना जिले के कांकीनारा में बम धमाके में 2 लोगों की मौत हो गई थी। जबकि, 4 लोग गंभीर रूप से घायल हो गए थे। इससे पहले एक आरएसएस और एक बीजेपी के कार्यकर्ता के पेड़ से लटकते शव पाए जाने से सनसनी फैल गई थी।
लगातार जारी है बंगाल में हिंसा वहीं, सोमवार को हावड़ा के आमटा स्थित सरपोटा गांव में बीजेपी कार्यकर्ता समातुल दोलुई का शव पेड़ से लटकते हुए मिला था। दोलुई के परिवार और बीजेपी नेताओं ने इस घटना के पीछे तृणमूल कांग्रेस का हाथ बताया था।
शनिवार को भी उत्तर 24 परगना जिले के संदेशखली में पार्टी के झंडे निकालकर फेंकने को लेकर टीएमसी और बीजेपी के कार्यकर्ताओं के बीच विवाद हो गया था। बीजेपी ने दावा किया था कि टीएमसी समर्थित लोगों द्वारा उनके पांच कार्यकर्ताओं की गोली मारकर हत्या कर दी गई है और 18 अन्य लापता हो गए हैं।
इधर, टीएमसी के एक वरिष्ठ नेता ने आरोप लगाया था कि उनकी पार्टी के तीन कार्यकर्ता संदेशखली विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले इलाके हाटगाछी में हुए खूनी संघर्ष में मारे गए हैं। संदेशखली संघर्ष में मारे गए लोगों की तस्वीरें सोशल मीडिया पर भी पोस्ट की गई थी। इस घटना को लेकर बंगाल में जमकर बवाल हुआ था। इस घटना के विरोध में बीजेपी की ओर से काला दिवस भी मनाया गया था।