हालांकि इस मामले में लापरवाही के चलते भादरा थाना प्रभारी हनुमानाराम बिश्नोई को गुरुवार को लाइन हाजिर कर दिया गया था। क्योंकि घटना के समय ड्यूटी पर तैनात ड्यूटी अधिकारी ने मौके पर नहीं पहुंचने का कारण बताया था कि थाना प्रभारी हनुमानाराम बिश्नोई ने उनको मना किया था। इस मामले की जांच भादरा पुलिस उप अधीक्षक सुभाष गोदारा को सौंपी गई है।
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क्या है पूरा मामला?
साहवा थाना प्रभारी अल्का बिश्नोई मय जाप्ता सादा वर्दी में दो सितबर को हरियाणा के हांसी से लौट रही थी। वहां चोरी के मामले में सांसी गैंग के तीन नामजद आरोपियों की गिरतारी करने गई पुलिस टीम खाली हाथ लौट रही थी। रात्रि को करीब दस बजे भादरा में हिसार हनुमानगढ़ बाइपास पर दिल्ली नंबर की कार आगे लगाकर अज्ञात जनों ने साहवा पुलिस की गाड़ी रुकवा ली। कार से उतरे दो अज्ञात जनों ने खुद को पुलिसकर्मी बताते हुए साहवा एसएचओ व अन्य पुलिसकर्मियों को गाड़ी से नीचे उतरने को कहा। अल्का बिश्नोई ने स्वयं के पुलिसकर्मी होने की जानकारी देते हुए आईडी कार्ड दिखाया। इस पर अज्ञात बदमाश भड़क गए तथा उन्हें फर्जी पुलिस करार देते हुए गाड़ी छीनने का प्रयास किया। यह भी पढ़ें
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नहीं पहुंची पुलिस तो खुद पहुंचे थाने
साहवा पुलिस ने करीब डेढ घंटा मौके पर खड़े रह कर भादरा पुलिस के मौके पर आने का इंतजार किया। जब थाने से कोई नहीं आया तो रात करीब 12 बजे अल्का बिश्नोई व उनकी टीम खुद ही भादरा थाने पहुंच गए। ड्यूटी अधिकारी से मौके पर नहीं आने का कारण पूछा तो उसने कहा कि थाना प्रभारी हनुमानाराम बिश्नोई ने मौके पर नहीं जाने का कहा था। इस पर साहवा थाना प्रभारी ने लिखित रिपोर्ट देकर मुकदमा दर्ज करवाना चाहा। मगर भादरा पुलिस ने मुकदमा दर्ज नहीं किया। इसके बाद मामला उच्चाधिकारियों तक पहुंचा। एसपी ने विकास सांगवान ने थानाधिकारी को लाइन हाजिर कर गुरुवार रात साहवा थाना प्रभारी को भादरा बुलाकर मामला दर्ज कराया। गुरुवार रात करीब एक बजे मामला दर्ज हुआ।
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