यह है मामलासेबी को शिकायत मिली थी जिसमें कहा गया था कि प्रमोटर्स को अप्रकाशित कीमत संवेदी सूचनाएं (UPSI) मिल जाती थी, जिसके आधार पर ये शेयरों की खरीद-फरोख्त करते थे। सेबी मई से लेकर अक्टूबर 2016 के बीच होने वाले सभी इनसाइडर ट्रेडिंग डील्स की जांच कर रहा था।
सेबी ने इन आरोपों की जांच करने के बाद पाया कि उत्पल सेठ और राकेश झुनझुनवाला को पहले से ही एपटेक में होने वाली कार्रवाई की जानकारी थी। उन्होंने कई अन्य आवेदकों को भी इसकी जानकारी दी और इस जानकारी के आधार पर राकेश झुनझुनवाला, रेखा झुनझुनवाला, राजेशकुमार झुनझुनवाला, सुशीला देवी गुप्ता, सुधा गुप्ता और उष्मा सेठ सुले ने एपटेक के शेयरों को खरीद लिया।
इस पूरे मामले में सैटलमेंट करने के लिए राकेश झुनझुनवाला ने सेबी से अपील करते हुए कहा था कि वे एपटेक के शेयरों की इनसाइडर ट्रेडिंग मामले में सेटलमेंट करना चाहते हैं। इस पर सेबी ने उन पर 37 करोड़ रुपए का जुर्माना लगाने का आदेश दिया। सेबी के आदेशानुसार राकेश झुनझुनवाला को 18.5 करोड़ रुपए तथा उनकी पत्नी को 3.2 करोड़ रुपए जुर्माने के रूप में देने होंगे, शेष राशि अन्य लोगों से वसूले जाने के आदेश दिए गए हैं।