बूंदी

टाइगर रिजर्व में बनेंगे कई चौकियां और नाका भवन

रामगढ़ टाइगर रिजर्व के प्रस्तावित क्षेत्र के माप चौक में वन विभाग जुट गया है। पूरे क्षेत्र की रिपोर्ट अधिकारियों ने मांगी है। ऐसे में क्षेत्रीय वन अधिकारी अपने-अपने क्षेत्र में पडऩे वाले वनखंडों और बूंदी डिवीजन के टाइगर रिजर्व में आने वाले क्षेत्र की रिपोर्ट तैयार करने में लग गए हैं।

बूंदीJul 08, 2021 / 09:08 pm

पंकज जोशी

टाइगर रिजर्व में बनेंगे कई चौकियां और नाका भवन

टाइगर रिजर्व में बनेंगे कई चौकियां और नाका भवन
अधिकारियों ने मांगी रिपोर्ट : क्षेत्र के मापचौक में जुटा विभाग
बूंदी. रामगढ़ टाइगर रिजर्व के प्रस्तावित क्षेत्र के माप चौक में वन विभाग जुट गया है। पूरे क्षेत्र की रिपोर्ट अधिकारियों ने मांगी है। ऐसे में क्षेत्रीय वन अधिकारी अपने-अपने क्षेत्र में पडऩे वाले वनखंडों और बूंदी डिवीजन के टाइगर रिजर्व में आने वाले क्षेत्र की रिपोर्ट तैयार करने में लग गए हैं।
गौरतलब है कि टाइगर रिजर्व में 1050.12 वर्ग किलोमीटर का क्षेत्र प्रस्तावित किया है। इसमें रामगढ़ विषधारी अभयारण्य के साथ ही बूंदी डिवीजन के डाबी, हिण्डोली, नैनवां क्षेत्र को भी शामिल किया है। बुधवार को इन क्षेत्रों की रिपोर्ट बनाई गई।
यह रहेगा क्षेत्रफल
रामगढ़ टाइगर रिजर्व में रामगढ़ अभयारण्य का 30920.51 हैक्टेयर का कोर जोन, बफर में बूंदी टेरिटोरियल नैनवां रेंज का 1621.57, बूंदी रेंज का 21427.91 हैक्टेयर, हिण्डोली रेंज का 6791.95 हैक्टेयर, डाबी रेंज का 37773.5 हैक्टेयर मिलाकर कुल 67614.93 हैक्टेयर क्षेत्र और भीलवाड़ा टेरिटोरियल का 6477 हैक्टेयर क्षेत्र शामिल किया है। इस तरह
से रिजर्व फोरेस्ट 70342.25 हैक्टेयर, प्रोटेक्टेड फोरेस्ट 26138.78, अनक्लासड फोरेस्ट 180 और रेवेन्यू एरिया 351.41 हैक्टेयर का रहेगा।
67 नाके व चौकियां है प्रस्तावित
टाइगर रिजर्व के लिए यहां कुल 67 नाके व चौकियां भी नए प्रस्तावित किए गए हैं। इसमें रामगढ़ रेंज में भैरुपुरा, दलेलपुरा,विषधारी में नाके, जैतसागर, केशोपुरा, गुलखेड़ी, जावरा, खटियाड़ी-रजवास, विषधारी, बांसखोल में वनरक्षक चौकियांरहेगी।
इसी तरह बूंदी रेंज में फूलसागर, कांटी अस्तोली, गुढ़ा नीम का खेड़ा, भीमलत वनरक्षक चौकियां रहेगी। डाबी में गुढा़ व गवार नाका, जाखमूंड, रामपुरिया, खड़ीपुर, अम्बारानी, धनेश्वर, गुढ़़ा राजपुरा, डाबी पलका, धोरेला गरड़दा, गोलपुर, मराड़ी गवार, अमलात अनार, कछालिया में वनरक्षक चौकी रहेगी।
हिण्डोली में उमर पगारां व रामपुरा नाका बनेंगे। भीलवाड़ा में जलिन्द्री चौकी, बांका वनपाल नाका, बांका और जलिन्द्र में ही वनरक्षक चौकी भी रहेगी। इसमें से कुछ स्थानों पर भवन काम लेने लायक हैं तो कुछ क्षतिग्रस्त हैं। इसके अलावा नए निर्माण भी कराए जाने हैं।
नोटिफिकेशन जल्द जारी होने की उम्मीद बंधी
विभागीय सूत्रों के अनुसार रामगढ़ टाइगर रिजर्व का नोटिफिकेशन जल्द जारी हो सकता है। रणथम्भौर में बढ़ते बाघों के संघर्ष को देखते हुए केन्द्र सरकार भी इसके नोटिफिकेशन को लेकर तेज गति से कार्य कर रही है। ऐसे में उम्मीद जताई जा रही है कि एक-दो सप्ताह में ही इसका नोटिफिकेशन भी जारी हो जाएगा। इसके चलते विभाग अपनी तैयारियों को भी तेजी से कर रहा है। ताकि नोटिफिकेशन के बाद रिजर्व को लेकर अन्य कार्य भी समय पर पूरे हो जाएं।
यह गांव है अभयारण्य में
रामगढ़ अभयारण्य में कुल 8 गांव बसे हुए हैं। इसमें भैरुपुरा, केशवपुरा, भीमगंज, जावरा, हरिपुरा, गुलखेड़ी, गुढ़ामकदू और धंूधलाजी का बड़ा शामिल है। इसकी कुल भूमि 8083.56 हैक्टेयर और खातेदारी जमीन 636.28 हैक्टेयर है।
आने-जाने वालों की हो रही लिस्टिंग लिख रहे नाम-पते
बूंदी. रामगढ़ विषधारी अभयारण्य में टाइगर रिजर्व के नोटिफिकेशन से पहले ही इसकी तैयारी शुरू कर दी है। अभयारण्य में आने-जाने वाले ग्रामीणों के वाहनों को रोककर उनके आने -जाने का कारण और नाम पते पूछे जा रहे हैं। यह काम रामगढ़ रेंज के दलेलपुरा नाके पर बने वॉच टावर पर किया जा रहा है। टाइगर रिजर्व बनने के बाद यहां से सिर्फ गांव के लोगों को ही आने जाने की इजाजत होगी। ऐसे में पहले से ही इस कार्य को कर लोगों को इसके अनुरूप ढाला जा रहा है।
फिलहाल एंट्री प्वांइट तय नहीं
विभाग ने फिलहाल एंट्री प्वांइट तय नहीं किए हैं, लेकिन माना जा रहा है कि रामगढ़ में प्रवेश के लिए दो एंट्री प्वाइंट बनाए जाएंगे। इसमें एक दलेलपुरा से और दूसरा जैतपुर से रहने की संभावना जताई जा रही है। हालांकि इसपर विभागीय विचार विमर्श के बाद ही कोई निर्णय किया जाएगा।
7 राजस्व गांव है यहां
अभयारण्य में सात राजस्व गांव मोतीपुरा, लुहारपुरा, माणकचौक, सबलपुरा, फूटतालाब, डूण्डया का झोपड़ा, लीलदां भी बसे हुए हैं। यहां के लोगों का नियमित रूप से बाहर आना-जाना रहता है। दलेलपुरा से इनके आने जाने की भी मॉनिटरिंग रहने के साथ अन्य लोगों के आने जाने की भी निगरानी की जा रही है।
कम हो जाएगा बूंदी डिवीजन का क्षेत्रफल
रामगढ़ अभयारण्य के टाइगर रिजर्व नोटिफिकेशन जारी होने के बाद बूंदी डिवीजन का क्षेत्रफल भी कम हो जाएगा। टाइगर रिजर्व में नैनवां, हिण्डोली, डाबी का काफी बड़ा क्षेत्र शामिल हो जाएगा। ऐसे में इनके शेष बचे क्षेत्र के साथ केशवरायपाटन और बूंदी का कुछ भाग ही बूंदी डिवीजन में रहेगा।
तीन वॉच टावर
रामगढ़ में वन्यजीवों व अन्य कोई गतिविधियों पर नजर रखने के लिए तीन वॉच टावर भी तैयार किए गए हैं। इसमें से एक दलेलपुरा वॉच टावर लम्बे समय पहले ही बनाया जा चुका है। वहीं दूसरा मांडू और तीसरा बजालिया में बनाया गया है। दलेलपुरा वॉच टावर पर ही नाका भी संचालित हो रहा है। वहीं अन्य दोनों पर निगरानी रखने के काम में लिया जा रहा है।
दलेलपुरा नाके पर स्थित वॉच टावर पर गांवों से आने जाने वालों के नाम पते लिखे जा रहे हैं। इससे कर्मचारियों के साथ ही ग्रामीणों को भी इसकी आदत पड़ जाएगी। वॉच टावर पर अन्य सुविधाएं भी शुरू करने के प्रयास हैं।
– रामप्रसाद बोयत, क्षेत्रीय वन अधिकारी, रामगढ़ रेंज

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