ये भी पढ़ें- UP Cabinet Meeting: धर्मांतरण के खिलाफ अध्यादेश पर मुहर, होगी 10 साल की सजा, स्वेच्छा से धर्म बदलने वाले करें यह, देखें नियम बिजली विभाग के कर्मचारियों ने किया विरोध-
जब बिजली विभाग के कर्मचारियों को इस बारे में पता चला तो उन लोगों ने पहले तो थाने जाकर प्रदर्शन किया। कोई सुनवाई न होने पर विद्युत उपकेंद्र पर वापस आकर सभी धरने पर बैठ गए। विरोध करते हुए उन्होंने 35 गांवों की बिजली काट दी, जिससे इलाके में हड़कंप मच गया। शाम के वक्त सीओ सिटी मौके पर पहुंचे। कर्मचारियों ने मांग की कि महिला इंस्पेक्टर माफी मांगे व चालान वापस करें। उन्होंने बताया कि महिला इंस्पेक्टर को चालान करने का हक है। वह चालान करें। लेकिन वह मारपीट पर उतारू हो गईं और थाने ले जाकर बंद कर दिया। वह जब माफी नहीं मांगती तब तक धरना प्रदर्शन चलता रहेगा। अंत में सीओ सिटी ने कर्मचारियों को कार्रवाई का आश्वासन दिया और विद्युत आपूर्ति शुरू कराई। तब तक करीब छह घंटे बिजली गुल रही। कर्मचारियों ने सोमवार दोपहर लगभग एक बजे सप्लाई बंद की जो शाम सात बजे जाकर सुचारु हो पाई।
जब बिजली विभाग के कर्मचारियों को इस बारे में पता चला तो उन लोगों ने पहले तो थाने जाकर प्रदर्शन किया। कोई सुनवाई न होने पर विद्युत उपकेंद्र पर वापस आकर सभी धरने पर बैठ गए। विरोध करते हुए उन्होंने 35 गांवों की बिजली काट दी, जिससे इलाके में हड़कंप मच गया। शाम के वक्त सीओ सिटी मौके पर पहुंचे। कर्मचारियों ने मांग की कि महिला इंस्पेक्टर माफी मांगे व चालान वापस करें। उन्होंने बताया कि महिला इंस्पेक्टर को चालान करने का हक है। वह चालान करें। लेकिन वह मारपीट पर उतारू हो गईं और थाने ले जाकर बंद कर दिया। वह जब माफी नहीं मांगती तब तक धरना प्रदर्शन चलता रहेगा। अंत में सीओ सिटी ने कर्मचारियों को कार्रवाई का आश्वासन दिया और विद्युत आपूर्ति शुरू कराई। तब तक करीब छह घंटे बिजली गुल रही। कर्मचारियों ने सोमवार दोपहर लगभग एक बजे सप्लाई बंद की जो शाम सात बजे जाकर सुचारु हो पाई।