संजय दत्त ने अपने बचपन के दिनों के बारे में बात करते हुए कहा कि कैसे वे अपने पेरेंट्स के साइन अपने असाइनमेंट्स में कर दिया करते थे ताकि टीचर्स को पता ना चले और कैसे अपने पेरेंट्स को दिखाने के लिए वे अपने टीचर के फर्जी साइन भी कर दिया करते थे। उन्होंने बताया कि वे पढ़ाई में बहुत खराब थे और उनके पिता उन्हें बेल्ट से मारते थे और उनकी मां सैंडल्स से उनकी पिटाई किया करती थीं।
अगर एक्टर के वर्कफ्रंट की बात करें तो ‘पानीपत’ के बाद अब संजय ‘टोरबाज’, ‘शमशेरा’ ( shamshera ) और ‘सड़क 2’ ( sadak 2 ) जैसी फिल्मों में अहम किरदार निभाते दिखाई देंगे।