‘कॉफी विद करण’ के लिए Karan Johar को भेजा गया समन, निर्माता बोले – ‘इसमें मेरी गलती क्या है?’
जी हां, उनके नजदीकी ने एक बार इंटरव्यू में बताया था कि उनके पास कलकत्ता से कुछ लोग मिले आए थे, जिन्होंने उनसे मां काली की पूजा के लिए गाना गाने का आग्रह किया था और रफी साहब ने इसके लिए वादा भी किया था। अपने वादे के मुताबिक रफी साहब उस गाने की रिकॉर्डिंग में लगे रहे, जिसके दौरान उनके सीने में दर्द की शिकायत थी, लेकिन फिर भी वो इस बात से बेफिक्र गाने की रिकॉर्डिंग करते रहे। इसी दौरान उनको दिल का दौरा पड़ा, जिससे उनका निधन हो गया और सिनेमा इंडस्ट्री ने अपना एक दिग्गज सितारा और दमादर सिंगर खो दिया। कहा जाता है कि आज भी उनकी कोई भरपाई नहीं कर सकता।
24 दिसंबर 1924 में जन्में मोहम्म्द रफी की शादी 19 साल की उम्र में बिलकिस बानों से हुई थी। उनकी पत्नी ने इंटरव्यू में बताया था कि ‘उनकी बड़ी बहन की शादी रफी साहब के बड़े भाई से हुई थी। उस वक्त मेरी उम्र 13 साल थी और मैं छठी क्लास में पढ़ा करती थी, जिसके बाद मेरी बहन ने मुझे बताया कि कल तुम्हारी शादी है रफी साहब के साथ। उस वक्त को मुझे शादी का मतलब भी नहीं पता था, लेकिन वो एक बेहद अच्छे और सुलझे हुए इंसान थे, जो हमेशा सहजता से बात किया करते थे’। रफी साबह ने हिंदी भाषा के अलावा उड़िया, भोजपुरी, गुजराती, बंगाली, सिंधी, पंजाबी, कोंकणी, मगही, मैथिली समेत कई भाषाओं में 7405 से ज्यादा गाने गाए हैं।