बनारसी ने बताया कि जब कल्पना को नासा के लिए चुना गया था तो उसने कहा था कि वह एक दिन बाहरी अंतरिक्ष में अगवा कर ली जाएगी। उन्होंने कहा कि कल्पना के लिए करनाल से लेकर कैलिफॉर्निया तक लोगों में प्यार था और उसकी मृत्यु के बाद मुझे उसके जीवन के कई पहलुओं के बारे में पता चला। जिन्होंने लोगों को प्रेरित किया। बनारसी लाल ने कहा- ‘मुझे लगता है कल्पना की लाइफ पर बायोपिक बननी चाहिए। अब ढेर सारी बायोपिक्स बन रही हैं। उस पर भी फिल्म बनेगी तो मुझे बेहद खुशी होगी। इससे पहले चर्चा थी कि प्रियंका चोपड़ा बायोपिक में कल्पना का रोल कर सकती हैं। ‘
बता दें कि चावला अंतरिक्ष में उड़ान भरने वाली भारतीय मूल की पहली महिला थीं। इस डॉक्यूमेंट्री में कल्पना का वह साक्षात्कार भी है, जिसमें उन्होंने कहा था कि उनके निधन के बाद उनकी राख या तो हिमालय या फिर उटाह के सिय्योन नेशनल पार्क में बिखेर दी जाए। कल्पना का जन्म साल 1962 में करनाल में हुआ था। वह साल 2003 में दुर्घटनाग्रस्त हुए अंतरिक्ष यान के चालक दल के सात सदस्यों में से एक थीं।