खास बात तो ये है कि इतनी पुरानी होने के बाद भी इस फिल्म को आज भी लोग देखना पसंद करते हैं. इस फिल्म को बनाने के लिए केवल 5 लाख रुपये खर्च हुए थे, लेकिन इस फिल्म ने बॉक्स ऑफिस पर 5 करोड़ रुपए से भी ऊपर की कमाई की थी. इतना ही नहीं यही वो साल था जब बॉक्स ऑफिस पर सदी के महानायक अमिताभ बच्चन और धर्मेंद्र की फिल्म ‘शोले’ और ‘दीवार’ जैसी फिल्में रिलीज हुई थीं, लेकिन फिर भी ये फिल्में भी उस अकेली फिल्म का रिकॉर्ड नहीं तोड़ पाई थीं. ‘जय संतोषी मां’ में ज्यादा बड़े स्टार्स ने काम नहीं किया था, लेकिन फिर भी इस फिल्म ने सिल्वर स्क्रीन पर गोल्डन जुबली (50 हफ्ते) मनाई थी.
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इस फिल्म को विजय शर्मा के निर्देशित किया था, जिसमें अनिता गुहा, कनन कौशल, भारत भूषण और आशीष कुमार ने मुख्य किरदार निभाए थे. इतना ही नहीं बताया जाता है कि जब ये फिल्म सिनेमाघरों में लगी थी, तो लोग बहुत दूर-दूर से बैल गाड़ी में इस फिल्म को देखने के लिए जाया करते थे. हालांकि, उस दौर में फिल्म की टिकट महज 56 रुपये तो दूसरे में 64 हुआ करते थे, जिसके बाद ईवनिंग शो में 98 रुपये और रात के शो में मुश्किल से 100 रूपये की कमाई की थी, लेकिन सोमवार की सुबह से जो इस फिल्म का जादू चला तो महीनों तक दर्शकों के सिर चढ़कर बोला.
इसके अलावा आपको ये जानकर बेहद हैरानी होगी कि ये एक धार्मिक फिल्म थी, जिसको देखने के लिए लोग अपने-अपेन जूते-चप्पल सिनेमाघरों के बाहर ही उतार दिया करते थे. फिल्म को देखने के बाद लोगों की आंखों में आंसू हुआ करते थे और लोग सिनेमाघरों में हाथ जोड़े बैठा रहा करते थे. इतना ही नहीं मां संतोषी को भोग लगाने के लिए घर से प्रसाद तक लाया करते थे और जब स्क्रीन पर मां संतोषी के दर्शन हुआ करते थे तो उन्हें दान के तौर पर सिक्के चढ़ाकर जाया करते थे. वहीं फिल्म में मां संतोषी का किरदार करने वाले एक्ट्रेस अनिता गुहा पर लोगों ने खुब प्यार लुटाया था. लोग उन्हें सच में देवी मानने लगे थे और उनसे आशीर्वाद लिया करते थे.