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एक फैसले से डूबा Anuradha Paudwal का कॅरियर, कभी होती थी लता मंगेशकर से तुलना

सिंगर अनुराधा पौडवाल ( Anuradha Paudwal ) इतनी तेजी से कामयाबी की ओर बढ़ रहीं थीं कि कहा जाने लगा कि अब उनके सामने कोई नहीं टिक पाएगा। संगीतकार ओपी नायर ने कह दिया कि अब लता जी ( Lata Mangeshkar ) को भी रिप्लेस कर देगी अनुराधा। हालांकि उनके एक फैसले ने सबकुछ खत्म कर दिया।

Oct 27, 2020 / 09:14 pm

पवन राणा

एक गलत फैसले से डूबा Anuradha Paudwal का कॅरियर, कभी होती थी लता मंगेशकर से तुलना

मुंबई। बॉलीवुड में अपनी मखमली आवाज के जादू से फैंस के दिलों पर राज करने वाली सिंगर अनुराधा पौडवाल ( Anuradha Paudwal ) की कभी सुर सम्राश्री लता मंगेशकर ( Lata Mangeshkar ) से की जाती थी। अनुराधा की आवाज के न केवल फैंस दीवाने थे बल्कि बड़े-बड़े संगीतकार और निर्माता भी कायल थे। बॉलीवुड पर एक जमाने में राज करने वाली अनुराधा ने जीवन में एक बड़ा फैसला लिया और अचानक उनकी दुनिया पलट गई। अनुराधा का जन्म 27, अक्टूबर 1954 को हुआ था। आज उनके ( Anuradha Paudwal Birthday ) 66वें जन्मदिन पर जानते हैं उनके जीवन से जुड़े कुछ अनसुने किस्से:

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बड़े संगीतकारों संग किया काम

अनुराधा ने अपने संगीतमय सफर की शुरूआत अमिताभ बच्चन की फिल्म ‘अभिमान’ से की। इसमें उनका गाया एक श्लोक इतना पॉपुलर हुआ कि उनको एक अलग पहचान मिली। इसके बाद उन्होंने लक्ष्मीकांत-प्यारेलाल, कल्याण जी आनंद जी और जयदेव जैसे दिग्गज संगीतकारों के साथ काम किया। बॉलीवुड सिंगिंग ही नहीं बल्कि भक्ति संगीत के लिए भी लोग उनके मुरीद हो गए।

लता से होने लगी तुलना

अनुराधा का सफर इतनी तेजी और कामयाबी से आगे बढ़ा कि कहा जाने लगा कि अब उनके सामने कोई नहीं टिक पाएगा। खबरों के अनुसार एक बार संगीतकार ओपी नायर ने कह दिया कि अब लता जी को भी रिप्लेस कर देगी अनुराधा। इतना ही नहीं टी-सीरीज के गुलशन कुमार ने भी उन्हें नए जमाने की लता बनाने की ठान ली। उस समय टी-सीरीज बड़ी कंपनी थी और अनुराधा ने इसके लिए सैंकड़ों गाने गाए।

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पति के निधन से टूट गईं
वर्ष 1990 में अनुराधा के पति का निधन हो गया। इससे वह बहुत टूट गईं। बाद में उन्होंने फैसला कि वे सिर्फ टी-सीरीज के लिए ही गाएंगी। इस एक फैसले से उनका करियर धीरे-धीरे ढलता गया और वह संगीत की दुनिया से दूर होती गईं। इससे अन्य सिंगर्स को बाकी कंपनियों में गाने का पूरा मौका मिला। प्लेबैक सिंगिंग छोड़ने के दौर में अनुराधा ने अधिकतर भक्ति संगीत ही गाया। एक इंटरव्यू में उन्होंने सिंगिंग छोड़ने के फैसले पर कहा था कि संगीत प्रधान फिल्मों नहीं मिलने की वजह से ये फैसला किया। उनका कहना था कि उन्हें भक्ति संगीत में ही आनंद मिलता है।

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