रविवार को शूटिंग कराना चाहते थे रवैल इस किस्से का जिक्र अनु कपूर ने रेडियो शो, ‘सुहाना सफर विद अनु कपूर’ में किया था। सन् 1963 की फिल्म, ‘मेरे महबूब’ में साधना और राजेंद्र कुमार दोनों ने साथ काम किया था। इस फिल्म के निर्देशन और निर्माण राहुल रवैल के पिता हरनाम सिंह रवैल (एच एस रवैल) कर रहे थे। इस फिल्म की शूटिंग का बहुत धीरे-धीरे चल रहा था, लेकिन एचएस रवैल चाहते थे कि शूटिंग समय से हो जाए।
रवैल ने राजेंद्र कुमार को बताई सारी बात इसके लिए उन्होंने साधना से बात की और कहा कि फिल्म की शूटिंग हमें संडे को भी करनी होगी। ताकि शूटिंग सही समय पर पूरी हो जाए। अपने नियम कायदों को लेकर सख्त साधना संडे को शूट नहीं करती थीं। जिसके कारण उन्होंने संडे को शूट करने से मना कर दिया और कहा कि सोमवार को शूट करेंगे, रविवार को नहीं। जब काफी समझने पर भी साधना राजी नहीं हुईं तो, एचएस रवैल राजेंद्र कुमार के पास गए और अपनी परेशानी बताई।
साधना ने राजेंद्र के कहने पर तोड़ दिए नियम इसके बाद राजेंद्र कुमार साधना के पास आए और उनसे कहा, ‘पापा क्या करते हो यार। चलो न संडे को भी शूट करते हैं।’ राजेंद्र कुमार की बात को साधना टाल नहीं पाईं और वो अपने नियम कायदे तोड़कर रविवार को शूटिंग करने के लिए भी राजी हो गईं।
आपको बता दें कि साधना को कई फिल्मों के लिए याद किया जाता है जिसमें से एक फिल्म ‘लव इन शिमला’ भी थी। इस फिल्म में साधना ने जॉय मुखर्जी के साथ काम किया था।