समस्याएं:
सुस्ती से जोड़ों में कसाव
सुस्त जीवनशैली वाले लोगों को सर्दी ज्यादा सताती है। सर्दी से कोशिकाएं और मांसपेशियां सिकुड़ने लगती हैं। जोड़ सख्त होने लगते हैं। लचीलेपन में कमी होने से मूवमेंट करने पर जोड़ों में दर्द होने लगता है। दूसरी तरफ अधिक उम्र में कार्टिलेज घिसने के बाद हड्डियों के आपस में टकराने से भी दर्द होता है। ज्यादा टाइट कपड़े पहनने से भी इसकी परेशानी बढ़ सकती है।
सुस्ती से जोड़ों में कसाव
सुस्त जीवनशैली वाले लोगों को सर्दी ज्यादा सताती है। सर्दी से कोशिकाएं और मांसपेशियां सिकुड़ने लगती हैं। जोड़ सख्त होने लगते हैं। लचीलेपन में कमी होने से मूवमेंट करने पर जोड़ों में दर्द होने लगता है। दूसरी तरफ अधिक उम्र में कार्टिलेज घिसने के बाद हड्डियों के आपस में टकराने से भी दर्द होता है। ज्यादा टाइट कपड़े पहनने से भी इसकी परेशानी बढ़ सकती है।
ऑक्सीजन की कमी से दर्द
सर्दी में खून की धमनियां सिकुडऩे से ब्लड का फ्लो कम हो जाता है। ब्लड कम पहुंचने से दिमाग में ऑक्सीजन की कमी होने से शरीर की तंत्रिकाओं में तनाव पैदा हो जाता है, जिससे शरीर और जोड़ों में दर्द होने लगता है।
सर्दी में खून की धमनियां सिकुडऩे से ब्लड का फ्लो कम हो जाता है। ब्लड कम पहुंचने से दिमाग में ऑक्सीजन की कमी होने से शरीर की तंत्रिकाओं में तनाव पैदा हो जाता है, जिससे शरीर और जोड़ों में दर्द होने लगता है।
बचाव:
शरीर काे ढक कर रखें
सर्दी में बाहर निकलते समय शरीर के कोमल हिस्सों जैसे कान, गर्दन के आगे का हिस्सा, सिर व पैरों को ढक कर रखें। इन हिस्सों में सर्दी ज्यादा लगती है। यदि जोड़ों में दर्द ज्यादा है तो सुबह-शाम, जिस समय तापमान कम होता है घर के अंदर रहें। लंबे दस्ताने या जोड़ों के लिए तैयार किए गए खास कपड़े पहनें। एक्सपर्ट की मानें तो एक मोटे स्वेटर या जैकेट की बजाय कई लेयर में कपड़े पहनें। इसकी दो वजह है एक तो दो कपड़ों के बीच जगह बनने से उसमें ऊष्मा रहती है। दूसरा जब गर्मी लगे तो एक लेयर उतार सकते हैं जबकि मोटा जैकेट अचानक हटाने से सर्दी लग सकती है।
शरीर काे ढक कर रखें
सर्दी में बाहर निकलते समय शरीर के कोमल हिस्सों जैसे कान, गर्दन के आगे का हिस्सा, सिर व पैरों को ढक कर रखें। इन हिस्सों में सर्दी ज्यादा लगती है। यदि जोड़ों में दर्द ज्यादा है तो सुबह-शाम, जिस समय तापमान कम होता है घर के अंदर रहें। लंबे दस्ताने या जोड़ों के लिए तैयार किए गए खास कपड़े पहनें। एक्सपर्ट की मानें तो एक मोटे स्वेटर या जैकेट की बजाय कई लेयर में कपड़े पहनें। इसकी दो वजह है एक तो दो कपड़ों के बीच जगह बनने से उसमें ऊष्मा रहती है। दूसरा जब गर्मी लगे तो एक लेयर उतार सकते हैं जबकि मोटा जैकेट अचानक हटाने से सर्दी लग सकती है।
तुलसी-दूध से राहत
हल्दी और तुलसी पत्ती मिला गरम दूध पीने से सूजन व दर्द में आराम मिलता है। लहसुन व अदरक खाना फायदेमंद है। खजूर में विटामिन ए और बी के अलावा पोटैशियम, मैग्नीशियम भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं जो शरीर को मजबूत व गर्म रखते हैं। सर्दी में फाइबर और कैल्शियम से भरपूर बाजरे का सेवन कर सकते हैं। इससे भी जोड़ों को लाभ मिलता है।
हल्दी और तुलसी पत्ती मिला गरम दूध पीने से सूजन व दर्द में आराम मिलता है। लहसुन व अदरक खाना फायदेमंद है। खजूर में विटामिन ए और बी के अलावा पोटैशियम, मैग्नीशियम भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं जो शरीर को मजबूत व गर्म रखते हैं। सर्दी में फाइबर और कैल्शियम से भरपूर बाजरे का सेवन कर सकते हैं। इससे भी जोड़ों को लाभ मिलता है।
गर्म रखने वाली डाइट लें
सर्दी में वही खाएं जिससे गर्मी मिले और वजन न बढ़े। इसके लिए कालीमिर्च, हल्दी, दालचीनी, अखरोट, पिस्ता, काजू, किशमिश, मूंगफली, बादाम खा सकते हैं। नट्स खाने से अधिक कैलोरी मिलती है। रोग प्रतिरोधक क्षमता भी बढ़ती है।
सर्दी में वही खाएं जिससे गर्मी मिले और वजन न बढ़े। इसके लिए कालीमिर्च, हल्दी, दालचीनी, अखरोट, पिस्ता, काजू, किशमिश, मूंगफली, बादाम खा सकते हैं। नट्स खाने से अधिक कैलोरी मिलती है। रोग प्रतिरोधक क्षमता भी बढ़ती है।
फ्रिज की चीजें दो घंटे बाद लें
गर्म भोजन खाएं। हल्का गुनगना पानी पीएं। फ्रिज में रखी चीजें खा रहे हैं तो दो घंटे पहले निकालकर रख लें, ताकि सामान्य तापमान में आ जाए। फल भी आधा घंटा बाद खाएं। फ्रिज में रखी सब्जियां अच्छे से गर्मकर ही खाएं। खट्टी चीजें जैसे दही या छाछ न लें। इससे जोड़ों की समस्या बढ़ती है।
गर्म भोजन खाएं। हल्का गुनगना पानी पीएं। फ्रिज में रखी चीजें खा रहे हैं तो दो घंटे पहले निकालकर रख लें, ताकि सामान्य तापमान में आ जाए। फल भी आधा घंटा बाद खाएं। फ्रिज में रखी सब्जियां अच्छे से गर्मकर ही खाएं। खट्टी चीजें जैसे दही या छाछ न लें। इससे जोड़ों की समस्या बढ़ती है।
मौसमी फल खाएं
संतरा, मौसमी, कीनू जैसे सीजनल फल और ब्रोकली, टमाटर, हरी सब्जियां या साग जैसे पालक, सरसों या राई का साग और पत्तागोभी जरूर खाएं। इसमें मौजूद विटामिन सी व डी से शरीर में कैल्शियम का अच्छा उपयोग होता है।
संतरा, मौसमी, कीनू जैसे सीजनल फल और ब्रोकली, टमाटर, हरी सब्जियां या साग जैसे पालक, सरसों या राई का साग और पत्तागोभी जरूर खाएं। इसमें मौजूद विटामिन सी व डी से शरीर में कैल्शियम का अच्छा उपयोग होता है।
आधा घंटे व्यायाम जरूर करें
सर्दी में नियमित व्यायाम से न केवल वजन नियंत्रित रहता है बल्कि शरीर को सक्रिय रखता है। जोड़ों पर दबाव नहीं होता है एक्टिव रहते हैं। नियमित 30 मिनट व्यायाम करें। ब्रिस्क वॉक जरूर करें। इससे ब्लड फ्लो सही रहता है।
सर्दी में नियमित व्यायाम से न केवल वजन नियंत्रित रहता है बल्कि शरीर को सक्रिय रखता है। जोड़ों पर दबाव नहीं होता है एक्टिव रहते हैं। नियमित 30 मिनट व्यायाम करें। ब्रिस्क वॉक जरूर करें। इससे ब्लड फ्लो सही रहता है।
धूप में मालिश से दोगुना असर
सरसों या जैतून के तेल से मालिश करें। यदि धूप में मालिश करते हैं तो लाभ दोगुना मिलेगा। शरीर और जोड़ों के दर्द में आराम मिलता है। हल्का गुनगुना तेल लगा सकते हैं। सर्दी में हल्के गुनगुने पानी से नहाएं। धूप में बैठने से विटामिन डी की कमी दूर होगी। मांसपेशियों और जोड़ोंं में दर्द कम होगा।
सरसों या जैतून के तेल से मालिश करें। यदि धूप में मालिश करते हैं तो लाभ दोगुना मिलेगा। शरीर और जोड़ों के दर्द में आराम मिलता है। हल्का गुनगुना तेल लगा सकते हैं। सर्दी में हल्के गुनगुने पानी से नहाएं। धूप में बैठने से विटामिन डी की कमी दूर होगी। मांसपेशियों और जोड़ोंं में दर्द कम होगा।