शाहपुरा में सौरभ शर्मा के निर्माणाधीन स्कूल का सचिव भी शरद को बना रखा। इसमें पत्नी दिव्या को डायरेक्टर और सास अर्चना शर्मा को स्कूल का अध्यक्ष बना रखा था। पत्रिका को मिले 28 दिसंबर 2022 के खनिज शाखा के पत्र में शरद ने स्कूल की खुदाई से निकलने वाली मिट्टी को जिस जमीन पर गिराने के लिए कहा वह भी उसी की है। इस जमीन की कीमत 3.50 करोड़ है।
सूत्रों का दावा है कि सौरभ का लुक आउट नोटिस जारी हो गया है। इससे एजेंसियों को उसे पकडऩे में आसानी होगी। सौरभ को भय था कि नोट जल्दी खराब हो जाते हैं। इसके बदले में उसने कीमती धातुओं का स्टॉक बनाना शुरू किया। जानकारों का कहना है कि सौरभ नोटों पर एक स्प्रे भी करता। इससे दीमक का भय नहीं रहता।
स्कूल की जमीन पर भी विवाद
शाहपुरा बी सेक्टर में 20000 वर्ग फीट के स्कूल की जमीन पर भी विवाद है। भोपाल विकास प्राधिकरण ने जमीन एनजीओ को दी, बाद में सौरभ ने खरीद ली। रहवासियों का कहना है कि यह जगह पार्क के लिए छोड़ी। शाहपुरा कालोनी ऑनर्स एसोसिएशन ने निगम से अवैध निर्माण की शिकायत की। 20 दिसंबर 2022 को नगर निगम ने निर्माण रोकनेका नोटिस दिया।सात साल पुराने शपथ पत्र में मां ने लिखा झूठ
ग्वालियर. सौरभ शर्मा की मां उमा शर्मा भी शिकंजे में आ सकती हैं। पति डॉ. आरके शर्मा के निधन के बाद 7 साल पहले मां ने 50 रुपए के स्टांप पर अनुकंपा नौकरी के लिए शपथ पत्र लिखा। इसमें लिखा कि उनके दो बेटे हैं। बड़ा बेटा सचिन पत्नी-बच्चों के साथ 5 साल से रायपुर में नौकरी करता है। उन्होंने उसे शासकीय सेवक नहीं बताया। खुद छोटे बेटे सौरभ शर्मा के साथ ग्वालियर में रहना बताकर पति के स्थान पर उसके लिए अनुकंपा नियुक्ति मांगी। शपथ पत्र 12 जुलाई 2016 को बना। सचिन छत्तीसगढ़ में राजस्व विभाग में अफसर हैं। यह सामने आने पर डीएसपी वीरेंद्र रघुवंशी की अगुवाई में टीम सौरभ की नियुक्ति की फाइल और शपथ पत्र को ले गई है।
ये भी पढ़ें: एमपी के कई जिलों में ओलावृष्टि, 27-28 दिसंबर को झमाझम बारिश का अलर्ट
ये भी पढ़ें: पीएम मोदी ने बांधों का श्रेय आंबेडकर को दिया, मोहन सरकार की तारीफ, पहली बार बुंदेली में संबोधन
ये भी पढ़ें: पीएम मोदी ने बांधों का श्रेय आंबेडकर को दिया, मोहन सरकार की तारीफ, पहली बार बुंदेली में संबोधन