भोपाल। अंजीर में भरपूर मात्रा में तांबा , सल्फर और क्लोरिन पर्याप्त मात्रा में होते हैं। ताजे अंजीर में विटामिन ए अत्याधिक पाया जाता है। जबकि विटामिन बी और सी सामान्य होता है। डॉयटीशियन रश्मि श्रीवास्तव बताती है कि ताजे अंजीर की तुलना में सूखे अंजीर में शर्करा और क्षार तीन गुना अधिक पाया जाता है। जो कि सेहत के लिए काफी फायदेमंद है। ऐसा नहीं है कि इसका सेवन सिर्फ पुरुष ही कर सकते है। इसका सेवन हर कोई कर सकता है। अंजीर एक फल होता है। जिसे सुखा कर भी सेवन किया जाता है। आमतौर पर अंजीर का फल हर मौसम में नहीं मिलता है लेकिन इसका सुखा हुआ मेवा आसानी से मिल जाता है। 5-6 अंजीर का रोजाना सेवन करने से आप कई बीमारियों से बच सकते है। जानिए इसके और फायदों के बारें में साथ ही जानें कैसे करें सेवन।
इन रोगों में उयोगी है अंजीरकब्ज – 3 से 4 पके अंजीर दूध में उबालकर रात्रि में सोने से पूर्व खाएं और ऊपर से उसी दूध का सेवन करें। इससे कब्ज और बवासीर में लाभ होता है।
– माजून अंजीर 10 ग्राम को सोने से पहले लेने से कब्ज़ में लाभ होता है। – अंजीर 5 से 6 पीस को 250 मिलीलीटर पानी में उबाल लें, पानी को छानकर पीने से कब्ज (कोष्ठबद्धता) में राहत मिलती है।
– 2 अंजीर को रात को पानी में भिगोकर सुबह चबाकर खाकर ऊपर से पानी पीने पेट साफ हो जाता है। – अंजीर के 4 दाने रात को सोते समय पानी में डालकर रख दें। सुबह उन दानों को थोड़ा सा मसलकर जल पीने
– अंजीर के 2 से 4 फल खाने से दस्त आते हैं। खाते समय ध्यान रहे कि इसमें से निकलने वाला दूध त्वचा पर न लगने पाये क्योंकि यह दूध जलन और चेचक पैदा कर सकता है।
– खाना खाते समय अंजीर के साथ शहद का प्रयोग करने से कब्ज की शिकायत नहीं रहती है। दमा -दमा जिसमें कफ (बलगम) निकलता हो उसमें अंजीर खाना लाभकारी है। इससे कफ बाहर आ जाता है तथा रोगी को शीघ्र ही आराम भी मिलता है।
– प्रतिदिन थोड़े-थोड़े अंजीर खाने से पुरानी कब्जियत में मल साफ और नियमित आता है। 2 से 4 सूखे अंजीर सुबह-शाम दूध में गर्म करके खाने से कफ की मात्रा घटती है, शरीर में नई शक्ति आती है और दमा (अस्थमा) रोग मिटता है।
प्यास की अधिकता बार-बार प्यास लगने पर अंजीर का सेवन करें। मुंह के छाले अंजीर का रस मुंह के छालों पर लगाने से आराम मिलता है। दांतों का दर्द – अंजीर का दूध रुई में भिगोकर दुखते दांत पर रखकर दबाएं।
– अंजीर के पौधे से दूध निकालकर उस दूध में रुई भिगोकर सड़ने वाले दांतों के नीचे रखने से दांतों के कीड़े नष्ट होते हैं तथा दांतों का दर्द मिट जाता है। पेशाब का अधिक आना
3-4 अंजीर खाकर, 10 ग्राम काले तिल चबाने से यह कष्ट दूर होता है। मुंहासे कच्चे अंजीर का दूध मुंहासों पर 3 बार लगाएं। त्वचा के विभिन्न रोग – कच्चे अंजीर का दूध समस्त त्वचा सम्बंधी रोगों में लगाना लाभदायक होता है।
– अंजीर का दूध लगाने से दिनाय (खुजली युक्त फुंसी) और दाद मिट जाते हैं। – बादाम और छुहारे के साथ अंजीर को खाने से दाद, दिनाय (खुजली युक्त फुंसी) और चमड़ी के सारे रोग ठीक हो जाते है।
दुर्बलता (कमजोरी) – पके अंजीर को बराबर की मात्रा में सौंफ के साथ चबा-चबाकर सेवन करें। इसका सेवन 40 दिनों तक नियमित करने से शारीरिक दुर्बलता दूर हो जाती है। -अंजीर को दूध में उबालकर-उबाला हुआ अंजीर खाकर वही दूध पीने से शक्ति में वृद्धि होती है तथा खून भी बढ़ता है।
रक्तवृद्धि और शुद्धि हेतु 10 मुनक्के और 5 अंजीर 200 मिलीलीटर दूध में उबालकर खा लें। फिर ऊपर से उसी दूध का सेवन करें। इससे रक्तविकार दूर हो जाता है। ताकत को बढ़ाने वाला
सूखे अंजीर के टुकड़े और छिली हुई बादाम गर्म पानी में उबालें। इसे सुखाकर इसमें दानेदार शक्कर, पिसी इलायची, केसर, चिरौंजी, पिस्ता और बादाम बराबर मात्रा में मिलाकर 8 दिन तक गाय के घी में पड़ा रहने दें। बाद में रोजाना सुबह 20 ग्राम तक सेवन करें। छोटे बालकों की शक्तिक्षीण के लिए यह औषधि बड़ी हितकारी है।
जीभ की सूजन सूखे अंजीर का काढ़ा बनाकर उसका लेप करने से गले और जीभ की सूजन पर लाभ होता है।
Hindi News / Bhopal / ये हैं अंजीर के हैरान कर देने वाले फायदे, आप भी नहीं जानते होंगे