मैदान में पांच चुनौतियां
नरेला में मौजूदा विधायक के खिलाफ माहौल बनाने के बावजूद शुक्ला को भाजपा की लोकप्रियता से जूझना पड़ेगा। मोदी लहर का फायदा भजपा प्रतयाशी को मिल सकता है । विरोधी पक्ष हाल ही में कई मामले दर्ज करवा चुका है। जिसका प्रचार कर रहे हैं।
खास-खास बातें
राजनीतिक करियर: पीसीसी सचिव वर्ष 2022 से अब तक, युवा कांग्रेस के अध्यक्ष रहे
चेंबर ऑफ कॉमर्स सदस्य
हिंदु उत्सव समिति सदस्य रहे
टिकट क्यों : नरेला में भाजपा विधायक के खिलाफ खुलकर पोल खोल अभियान चलाया। स्थानीय स्तर पर सक्रिय रहने के चलते महिलाओं में लोकप्रिय हुए।
किस गुट से : मनोज शुक्ला कांग्रेस में अपने दम पर खड़े हुए। पिता सुभाष शुक्ला के निर्देशन में राजनीतिक कद तेयार किया। आज पार्टी के मजबूत दावेदार बनकर सामने आए।
टिकट के बाद कांग्रेस
नरेला की जनता बदलाव चाहती है। पार्टी ने मुझ पर भरोसा जताया है और जनता का भरोसा मुझे जीत दिलाएगा।
– मनोज शुक्ला कांग्रेस प्रत्याशी
टिकट के बाद भाजपा
भाजपा इस सीट पर अपने विकास कार्य की बदोलत जीतती आई है। इस बार भी मेरा नरेला परिवार मेरे प्रति आश्वास्त है।
– विश्वास सारंग, भाजपा प्रत्याशी