आरती ने पूछताछ में बताया कि उसके कई रसूखदारों के साथ अंतरंग संबंध रहे हैं। कुछ को लाइजनिंग में इस्तेमाल करती थी तो तो कुछ को ब्लैकमेल करने के लिए। शनिवार को इंदौर एसएसपी रुचिवर्धन मिश्र महिला थाने पहुंची। यहां उन्होंने आरती और उसकी सहयोगी मोनिका से अलग-अलग पूछताछ की।
आरती ने पूछताछ में बताया कि वह स्पाय वीडियो के जरिए वीडियो तैयार करती थी क्योंकि मोबाइल से वीडियो बनाने पर शक हो जाता है। उसने अपने मोबाइल में स्पाय कैमरा फिट कर रखा था।
नहीं हुई थी आरती की शादी
बताया जा रहा है कि अभी आरती की शादी नहीं हुई थी। वह लिव इन में रहकर ब्लैकमेल कर रही थी। वहीं, पूछताछ में पता चला है कि मोनिका का जन्म साल 2000 में हुआ है। मोनिका, आरती से तीन महीने पहले ही संपर्क में आई थी।
दो टीमों में करती थीं काम
टीम ए
इसमें श्वेता विजय जैन के साथ रिवेरा टाउन में रह रही सहेली श्वेता स्वप्निल जैन, लूप लाइन में पड़े तीन आईएएस, दो आईपीएस, तीन पूर्व मंत्री, चार विधायक भी थे। इसमें तीन अन्य युवतियों को जोड़ रखा था। श्वेता के भरोसेमंद तीन पूर्व मंत्रियों में से एक सरकार गिराने का बार-बार बयान देकर सुर्खियों में रहे हैं। यह टीम सरकार के एनजीओ के नाम पर पैसा कमाती थी। श्वेता स्वप्निल अलग से भी काम करती थी।
सरकार बदलने के बाद श्वेता विजय जैन ने टीम-बी बनाई। इसकी मुखिया कांग्रेस में रसूख रखने वाली बरखा को बनाया। इसकी मदद के लिए आरती दयाल को सहयोगी बनाया गया। इसमें करीब 19 युवतियों को जोड़ा गया। इन्हें राजनीतिक या प्रशासनिक गलियारों में नहीं देखा गया था। इन्हीं युवतियों की अफसर और नेताओं के साथ संबंध बनाने की वीडियो क्लिप बरामद हुई है।