केंद्र सरकार अपने कर्मचारियों के लिए जल्द ही महंगाई भत्ता बढ़ाने वाली है। इसकी घोषणा 31 जनवरी को हो सकती है। घोषणा कभी भी हो, इसे 1 जनवरी 2024 से लागू किया जाएगा। मध्यप्रदेश में नौकरी करने वाले केंद्र सरकार के 75 हजार से अधिक कर्मचारियों को इसका लाभ मिलने लगेगा।
दिल्ली से आ रही खबरों के मुताबिक दिसंबर AICPI इंडेक्स के नंबर अभी बाकी हैं। यदि इंडेक्स में तेज से उछाल होता है तो जनवरी में महंगाई भत्ता 50.52 के अंकों तक पहुंच जाएगा। ऐसी स्थिति में महंगाई भत्ता 51 फीसदी किया जा सकता है। हालांकि मौजूदा ट्रेंड्स को देखते हुए फिलहाल 50 प्रतिशत महंगाई भत्ता तय माना जा रहा है। फिलहाल 46 फीसदी महंगाई भत्ता मिल रहा है। इसमें चार फीसदी का इजाफा संभव है। 31 जनवरी को स्थिति स्पष्ट हो जाएगी।
1 जनवरी से 50 फीसदी महंगाई भत्ता बढ़ाया जाएगा, लेकिन 50 फीसदी के बाद से महंगाई भत्ते की गणना 0 से शुरू की जाएगी। जो 50 फीसदी दिया जाएगा, उसे तो बेसिक वेतन में जोड़ दिया जाएगा। यदि किसी कर्मचारी के पे बैंड के हिसाब से न्यूनतम बेसिक वेतन 18 हजार रुपए है तो 50 फीसदी का 9000 रुपए उसके वेतन में जोड़ा जाएगा।
जब भी नया वेतनमान लागू होता है, तो कर्मचारियों को मिलने वाला महंगाई भत्ता मूल वेतन में जोड़ा जाता है। जानकार बताते हैं कि वैसे तो शत प्रतिशत महंगाई भत्ते को मूल वेतन में जोड़ा जाना चाहिए। लेकिन ऐसा हो नहीं पाता है। वित्तीय स्थितियों के कारण कुछ बदलाव कर दिए जाते हैं। हालांकि साल 2016 में ऐसा हुआ था। उसके बाद साल 2006 में जब छठा वेतनमान लागू हुआ तो उस समय पांचवे वेतनमान में दिसंबर तक 187 फीसदी महंगाई भत्ता मिल रहा था। पूरा महंगाई भत्ता मूल वेतन में मर्ज कर दिया गया था। इसलिए छठवें वेतनमान का गुणांक 1.87 था। तब नया वेतन बैंड और न्यू ग्रेड वेतन भी बनाया गया था। लेकिन इसे देने में तीन वर्ष लग गए थे।
मध्यप्रदेश के 12 लाख कर्मचारियों और सेवानिवृत्त कर्मचारियों की दिवाली तो फीकी रही और अब नया साल का जश्न भी फीका साबित हो रहा है। केंद्रीय दर और केंद्रीय तिथि से महंगाई भत्ता देने का वादा करने वाली सरकार ने अब तक 4 फीसदी महंगाई भत्ता नहीं दिया है। जबकि केंद्र सरकार चार फीसदी और बढ़ाने वाली है। मध्यप्रदेश तृतीय वर्ग कर्मचारी संघ के प्रदेश सचिव उमाशंकर तिवारी का कहना है कि हर बार कैबिनेट बैठक से उम्मीद होती है कि महंगाई भत्ता बढ़ाने का फैसला लिया जाएगा, लेकिन सभी को निराश होना पड़ रहा है। प्रदेश में जुलाई 2023 से 4 फीसदी महंगाई भत्ता और महंगाई राहत नहीं दिया जा रहा है। सेवानिवृत्ति कर्मचारियों-अधिकारियों को तो और भी ज्यादा मुसीबत के साथ जीवन गुजारना पड़ रहा है। क्योंकि बुजुर्गों को दवाई स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं से काफी जूझना पड़ता है और इसमें आर्थिक जरूरतें बहुत ज्यादा रहती है।