आपको बता दें कि, बीते 8 सितंबर को राजधानी भोपाल में स्थित बिलाबोंग हाई इंटरनेशनल स्कूल के बस चालक हनुमंत जाटव ने 3 साल की मासूम बच्ची के साथ दुष्कर्म की वारदात को अंजाम दिया था। उसके साथ बस में बच्चों की निगरानी के लिए चलने वाली महिला सहकर्मी ने भी बस चालक का कुकृत्य में सहयोग किया था। इसी मामले को लेकर आज फास्ट ट्रैक कोर्ट ने पैसला सुनाया है। आपको बता दें कि, इस मामले में 31 लोगों की गवाही के बाद कोर्ट ने ड्राइवर और महिला सहयोगी को बच्ची से कुकर्म का दोषी करार देते हुए फैसला सुनाया है।
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इनपर भी केस दर्ज
बता दें कि, इस मामले में बिलाबोंग स्कूल के चेयरपर्सन प्रमोटर नज़्म जमाल, चेयरमैन ऑपरेशन फैजल अली, प्रिंसिपल आशीष अग्रवाल और ट्रासपोर्ट मैनेजर सय्यद बिलाल के खिलाफ 188, पाक्सो एक्ट-21 में मामला दर्ज हुआ है। अपराध दबाने के आरोप में पाक्सो एक्ट-21 लगाई गई है। मासूम के साथ दुष्कर्म मामले में दोषी ड्राइवर और सहयोगी महिला को जेल भेज दिया गया है।
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