राज्य सरकार ने आदिवासी बाहुल्य ग्राम पंचायतों में कार्यरत पेसा मोबिलाइजर को दिवाली पर बड़ी सौगात दी है। उनका मानदेय पूरा दोगुना कर दिया गया है। उनके मानदेय में पूरे 4 हजार रुपए की वृद्धि की गई है। मानदेय में बढ़ोत्तरी का आदेश जारी किया गया है।
एमपी में आदिवासी इलाकों में पेसा मोबिलाइजर कार्यरत हैं। इन्हें अब तक मानदेय के रूप में 4,000 रुपए दिए जा रहे थे। पेसा मोबिलाइजर के मानदेय Pesa Mobilizer Honorarium की यह राशि बढ़ाकर अब 8,000 रुपए कर दी गई है। सीएम मोहन यादव ने गुरुवार को मानदेय बढ़ोत्तरी की घोषणा की। मानदेय में बढ़ोतरी के साथ ही सीएम ने सभी पेसा मोबिलाइजर को बधाई और शुभकामनाएं भी दी।
मध्यप्रदेश में करीब 20 जिलों में आते पेसा मोबिलाइजर काम कर रहे हैं। प्रदेश में 5,000 हजार से ज्यादा पेसा मोबिलाइजर को सरकारी घोषणा का लाभ मिलेगा। गौरतलब है कि प्रदेश की आदिवासी बहुल हर ग्राम सभा में पेसा मोबिलाइजर कार्यरत हैं। ग्राम सभा में इनकी अहम भूमिका होती है। पंचायतों के विकास कार्यों में भी पेसा मोबिलाइजर मददगार साबित होते हैं।
पेसा मोबिलाइजर के मानदेय में वृद्धि को विधानसभा उपचुनावों से जोड़ा जा रहा है। बता दें कि एमपी की बुधनी और विजयपुर सीट पर उपचुनाव हो रहा है। श्योपुर जिले की विजयपुर विधानसभा आदिवासी बाहुल्य है जहां हर पंचायत में पेसा मोबिलाइजर सक्रिय हैं।
सीएम मोहन यादव ने पेसा मोबिलाइजर के मानदेय में वृद्धि के संबंध में ट्वीट भी किया। उन्होंने अपने एक्स हेंडल पर लिखा- सरकार का एक और संकल्प पूर्ण… जनजातीय क्षेत्रों में ग्राम सभाओं को सशक्त बनाने के उद्देश्य की पूर्ति में महत्वपूर्ण भूमिका का निर्वहन करने वाले पेसा मोबिलाइजर्स का मानदेय ₹4000 प्रतिमाह से बढ़ाकर ₹8000 प्रतिमाह करने का सरकार ने निर्णय लिया है। आप सभी पेसा मोबिलाइजर्स को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं।
आदरणीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदीजी के नेतृत्व में हम जनजातीय वर्ग के कल्याण हेतु पूर्ण प्रतिबद्धता के साथ निरंतर कार्यरत हैं।