भीलवाड़ा

ये कैसा जहाज, जहां से जा रहा है देश को शांति एवं अहिंसा का संदेश

देश की धर्म नगरी बनी जहाजपुर के स्वस्ति धाम में आयोजित पंचकल्याणक प्रतिष्ठा महोत्सव एवं विश्व शांति महायज्ञ में शनिवार को राज्यपाल कलराज मिश्र भी शामिल हुए। यहां आयोजित धर्मसभा में राज्यपाल मिश्र ने कहा कि हम शक्तिशाली रहे, लेकिन अपनी शक्ति का कभी दुरुपयोग ना हो। जीवन में क्षमादान को अपनाते हुए अहिंसा के मार्ग पर चलने की जैन तीर्थकर भी सीख देते हैं। Panchakalyanak Pratishtha Mahotsav and World Peace Mahayagna at Jahazpur in Bhilwara

भीलवाड़ाFeb 02, 2020 / 12:15 pm

Narendra Kumar Verma

What kind of ship is going from where the message of peace and non-vio

भीलवाड़ा। देश की धर्म नगरी बनी जहाजपुर के स्वस्ति धाम में आयोजित पंचकल्याणक प्रतिष्ठा महोत्सव एवं विश्व शांति महायज्ञ में शनिवार को राज्यपाल कलराज मिश्र भी शामिल हुए। यहां आयोजित धर्मसभा में राज्यपाल मिश्र ने कहा कि हम शक्तिशाली रहे, लेकिन अपनी शक्ति का कभी दुरुपयोग ना हो। जीवन में क्षमादान को अपनाते हुए अहिंसा के मार्ग पर चलने की जैन तीर्थकर भी सीख देते हैं। What kind of ship is going from where the message of peace and non-vio
उन्होंने कहाकि जितने भी तीर्थंकर व जैन मुनि हुए हैं, उन सभी की एक ही सोच रही है कि मानव कल्याण के लिए सकारात्मक भाव से अधिक से अधिक कार्य हो। उन्होंने कहा कि जीवन में क्षमादान को अपनाते हुए अहिंसा मार्ग पर चलने की जैन तीर्थकर भी सीख देते हैं। युवा वर्ग में सत्य,अहिंसा का भाव जागे उनमें मानव कल्याण के भाव पैदा हो इसके लिए हर संभव प्रयास हो। मिश्र ने कहा कि जहाजपुर का जहाज मंदिर देगा शांति एवं अहिंसा का संदेश देगा।
राज्यपाल मिश्र ने कहा कि राज्यपाल संवैधानिक पद है, भारत का संविधान हमारे वेदों, धर्म ग्रंथों व पौराणिक तथ्यों का सम्मिश्रण है। हमारा संविधान सामाजिक समरसता की बात करता है। जैन धर्म की बातों को अगर अमल में लाया जाए तो विश्व शांति होने में समय नहीं लगेगा। राज्यपाल ने जहाजपुर को पवित्र स्थल बताया और कहा कि इसी का परिणाम है यहां स्वस्तिधाम देखने को मिल रहा है। और कई धार्मिक प्रतिमाएं भूगर्भ से प्रकटित हो रही है। जैन संतों ने हमेशा से जन कल्याण, किसान कल्याण वह गोवंश के कल्याण की बात कही है।
भारतीय संस्कृति की जडें काफ ी गहरी
धर्मसभा में आचार्य ज्ञानसागर ने कहा कि भारतीय संस्कृति की जडें काफ ी गहरी है। पूर्व में कई विदेशी यहां आये और यहां की संस्कृति को नुकसान पहुंचाने में कोई कोर कसर नहीं रखी लेकिन बावजूद इसके आज भी भारतीय संस्कृृति अडिग है। हमारी भारतीय संस्कृति में आध्यात्म है एवं आज की पीढी को चाहिए कि वो भारतीय संस्कृति को पहचाने एवं इसका अनुसरण करें।
आर्यिका स्वस्ती भूषण माताजी ने कहा कि जीवन में बडा काम करने के लिए व्यक्ति का सरल होना जरुरी है। इस दौरान कार्याध्यक्ष जयकुमार कोठारी, महावीर प्रसाद पौद्दार, पूर्व विधायक शिवजीराम मीणा आदि मौजूद थे। भगवान के दर्शन किएराज्यपाल कलराज मिश्र शनिवार सुबह विशेष विमान से जहाजपुर स्थित स्वास्तिधाम पहुंचे। यहां अस्थाई हेलीपेड पर विधायक गोपीचंद मीणा, कलक्टर राजेन्द्र भट्ट व पुलिस अधीक्षक हरेन्द्र महावर तथा पंचकल्याणक आयोजन महोत्सव समिति जहाजपुर के अध्यक्ष विनोद जैन टोरड़ी, महामंत्री ज्ञानेंद्र जैन, प्रचार प्रसार के प्रभारी मनोज जैन आदिनाथ, कार्याध्यक्ष जयकुमार कोठारी आदि ने अगवानी की। यहां से राज्यपाल आयोजन स्थल पहुंचे और मंच पर संतों से आशीर्वाद लिया। मंदिर प्रांगण में 1008 मुनि सुव्रतनाथ जिनबिम्ब भगवान के दर्शन किए। Panchakalyanak Pratishtha Mahotsav and World Peace Mahayagna at Jahazpur in Bhilwara
स्वस्तिधाम में धार्मिक अनुष्ठान आयोजन समिति के अशोक बडजात्या ने बताया कि स्वस्तिधाम में शनिवार को सुबह से रात तक धार्मिक अनुष्ठान हुए। सुबह मूलनायक अभिषेक एवं शांति धारा, जाप, अनुष्ठान, अभिषेक एवं शांतिधारा, नित्य पूजा, सकलीकरण, इंद्र प्रतिष्ठा, मंडप प्रतिष्ठा, कुंभ कलश स्थापन, मंगल कलश स्थापन, अखंड ज्योति स्थापन, अष्ट मंगल का आयोजन हुआ। रात को याग मंडल विधान, गुरु भक्ति, मंगल व शास्त्र सभा, इंद्र दरबार, तत्व चर्चा सिंहासन, कम्पायमान, कुबेर का आगमन, रत्नवृस्ति, राजगृही की रचना, महाराजा सुमित्र का दरबार, अष्ट कुमारियों द्वारा आज्ञा, माता की सेवाए, सोलह स्वपन दर्शन व गर्भ कल्याण का आयोजन देखने को मिला।
स्वस्ति धाम में साहित्य प्रदर्शनी
यहां स्वस्ति भूषण माताजी के रचित काव्य शास्त्र एवं साहित्य की प्रदर्शनी का शुभारम्भ शुभकामना परिवार के राष्ट्रीय अध्यक्ष जय कुमार कोठारी, राष्ट्रीय प्रचार मंत्री पवन सोनी, अशोक बडजात्या, लाभचंद काला, भाग चंद्र शाह, महावीर सोनी एवं कैलाश गंगवाल के सानिध्य में हुआ। हुआ। यहां प्रियंका दीदी एवं शालू दीदी ने साहित्य के बारे में समाज जनों को समझाया।
महायज्ञ 7 फ रवरी तक
जहाजपुर में नवनिर्मित ऐतिहासिक स्वस्तिधाम परिसर में आठ दिवसीय श्री 1008 मुनिसुव्रतनाथ जिनबिंब पंचकल्याणक प्रतिष्ठा महोत्सव एवं विश्वशांति महायज्ञ 7 फरवरी तक चलेगा। कार्यक्रम में भीलवाड़ा, कोटा, उदयपुर, चित्तौड़, अजमेर, जयपुर, देवली, टोंक, निवाई सहित देशभर से बड़ी संख्या में श्रावक-श्राविकाएं पहुंचे है।

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