कर्मचारियों पर अब नगर विकास न्यास में तीसरी आंख के जरिए पहरेदारी होगी। दलालों की हरकतों पर भी तीसरी आंख से नजर रखी जाएगी। न्यास सभी शाखा कक्षों में सीसीवीटी कैमरे लगा रही है। इसी प्रकार यहां कर्मचारियों की जनता की सुनवाई के लिए गंभीर रहने के लिए भी न्यास एक जनता रजिस्ट्रर खोल रही है।
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न्यास में कर्मचारियों पर भ्रष्टाचार के आरोप लगते रहते हैं। यहां आने वाले लोगों का यह भी आरोप होता है कि अधिकांश कर्मचारी उनकी फाइलों के निस्तारण की बजाय उसे अटकाते हुए सुविधा शुल्क लेने की कोशिश करता है। कई बार उनकी मांगें पूरी नहीं होने पर सम्बन्धित फाइलें ही गायब हो जाती है। न्यास में अभी करीब एक दर्जन फाइलें एेसी है, जिनका कोई ठौर ठिकाना नहीं है। न्यास के बाबू फाइल तलाशने का झांसा देकर उन्हें घुमा ही रहे है। इस संदर्भ में सम्बंधित शाखा प्रभारी व अभियंता भी अपनी जिम्मेदारी गंभीरता से नहीं निभा रहे है।
न्यास में कर्मचारियों पर भ्रष्टाचार के आरोप लगते रहते हैं। यहां आने वाले लोगों का यह भी आरोप होता है कि अधिकांश कर्मचारी उनकी फाइलों के निस्तारण की बजाय उसे अटकाते हुए सुविधा शुल्क लेने की कोशिश करता है। कई बार उनकी मांगें पूरी नहीं होने पर सम्बन्धित फाइलें ही गायब हो जाती है। न्यास में अभी करीब एक दर्जन फाइलें एेसी है, जिनका कोई ठौर ठिकाना नहीं है। न्यास के बाबू फाइल तलाशने का झांसा देकर उन्हें घुमा ही रहे है। इस संदर्भ में सम्बंधित शाखा प्रभारी व अभियंता भी अपनी जिम्मेदारी गंभीरता से नहीं निभा रहे है।
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न्यास भी कर्मचारियों की लेटलतीफी में उलझी हुई है। अधिकांश कर्मचारी सुबह दस बजे तक आते है और उनका लंच भी दो घंटे तक चलता है। लोगों की शिकायतें है कि बाबूओं के कुर्सी पर नहीं मिलने पर उन्हें चक्कर लगाना पड़ता है। इसकी शिकायत न्यास अध्यक्ष एवं सचिव को करने के लिए मजबूर होना पड़ता है।
न्यास भी कर्मचारियों की लेटलतीफी में उलझी हुई है। अधिकांश कर्मचारी सुबह दस बजे तक आते है और उनका लंच भी दो घंटे तक चलता है। लोगों की शिकायतें है कि बाबूओं के कुर्सी पर नहीं मिलने पर उन्हें चक्कर लगाना पड़ता है। इसकी शिकायत न्यास अध्यक्ष एवं सचिव को करने के लिए मजबूर होना पड़ता है।
नियमन, आवांटन,रूपांतरण, अतिक्रमण व भूखंडों के बेचान से जुड़े अधिकांश मामलों में दलालों की ही न्यास में चल रही है। इनसे सम्बन्धित फाइल एेसे दलालों के हाथों के जरिए ही इधर से उधर शाखाओं में घूम रही है। एेसे में आवंटी को अपना काम कराने के लिए जेब ढीली करनी पड़ रही है। हाल ही न्यास सचिव को एक आवंटी ने शिकायतें की थी एक दलाल ने उसका काम निपटाने के लिए रुपए की मांग की है। इस दलाल ने यूआईटी के बाबू व अभियंता से सांठगांठ होने की बात उससे कही। सचिव ने इस पर कार्यवाही भी की, लेकिन ये कार्रवाई बाद में फोरी ही साबित हुई।
पहले लगाए कैमरे रास नहीं आए
न्यास परिसर में कर्मचारियों पर नजर रखने एवं दलालों का प्रवेश वर्जित करने के लिए न्यास ने पांच वर्ष पूर्व समूचे गलियारे में सीसीटीवी कैमरे लगाए थे, उस वक्त प्रत्येक माह इन कैमरों को खंगालने और जो दलाल रोजाना आता है और किस कर्मचारी से मिलता है, उसका रिकार्ड लिखित में रखने का निर्णय लिया गया। इसी प्रकार कर्मचारी की कार्य शैली भी नजर रखने की कार्य योजना तैयार की गई, लेकिन न्यास के ये सीसीटीवी कैमरे व्यवस्था के नाम पर अभी तक शो पीस ही साबित हुए है।
न्यास परिसर में कर्मचारियों पर नजर रखने एवं दलालों का प्रवेश वर्जित करने के लिए न्यास ने पांच वर्ष पूर्व समूचे गलियारे में सीसीटीवी कैमरे लगाए थे, उस वक्त प्रत्येक माह इन कैमरों को खंगालने और जो दलाल रोजाना आता है और किस कर्मचारी से मिलता है, उसका रिकार्ड लिखित में रखने का निर्णय लिया गया। इसी प्रकार कर्मचारी की कार्य शैली भी नजर रखने की कार्य योजना तैयार की गई, लेकिन न्यास के ये सीसीटीवी कैमरे व्यवस्था के नाम पर अभी तक शो पीस ही साबित हुए है।
तीसरी आंख से सुधारेंगे न्यास की व्यवस्था
न्यास में कुछ कर्मियों के अपने कक्ष में समय पर नहीं आने, आने के बाद कुर्सी पर नहीं टिकने तथा लंच में समय बर्बाद करने की शिकायतें मिली है। इसी प्रकार दलालों के न्यास कार्य में भी दखल की शिकायत बढ़ रही है। न्यास कार्य में सुधार एवं पारदर्शिता बनी रहे और जनता का विश्वास न्यास में बना रहे, इसके लिए अब प्रत्येक कक्ष में सीसीटीवी कैमरे लगाए जा रहे है। इन कैमरों की रिकार्डिंग की भी समय पर समीक्षा की जाएगी और उन पर सख्त कार्रवाई होगी।
गोपाल खण्डेलवाल, अध्यक्ष नगर विकास न्यास