कृषि कानून रद्द करवाने के लिए अदालत जाएंगे इस मौके पर मुख्यमंत्री ने नए कृषि विधेयकों को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद द्वारा मंजूरी देने को निंदनीय और दुखदायक करार दिया है। उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति ने इस संबंध में कांग्रेस और अन्य विरोधी पार्टियों का पक्ष सुने बिना यह फैसला लिया है। इन कानूनों से किसानों का बहुत नुकसान होगा। कहा कि कृषि कानूनों को रद्द करवाने के लिए भाजपा और सहयोगी दलों के खिलाफ अदालत में जाएंगे।
किसानों का एक-एक दाना खरीदने के लिए वचनबद्ध उन्होंने कहा कि किसानों के हितों की रक्षा के लिए उनकी सरकार प्रांतीय कानूनों में हर संभव संशोधन करने के लिए सभी पहलुओं पर विचार कर रही है। कोई फैसला लेने से पहले किसान संगठनों और अन्य स्टेक होल्डर को भरोसे में लिया जाएगा। इसके साथ ही उन्होंने आश्वासन दिया कि राज्य सरकार फसल की कीमत के साथ समझौता किए बिना किसानों का एक-एक दाना खरीदने के लिए वचनबद्ध है।
पंजाब की खेती बर्बाद हो जाएगी मुख्यमंत्री ने कहा कि भविष्य में अगला कदम उठाने से पहले उनकी सरकार कानून और खेती माहिरों समेत उन सभी लोगों से विचार-विमर्श कर रही है जो केंद्र सरकार के इन किसान विरोधी कानूनों से प्रभावित हुए हैं। उन्होंने कहा कि कानूनी रास्ता अख्तियार करने के अलावा अन्य विकल्पों पर भी विचार किया जा रहा है। कैप्टन ने कहा कि इन नए कानूनों को मौजूदा रूप में लागू होने से पंजाब की खेती बर्बाद हो जाएगी जोकि पंजाब की जीवन रेखा है।