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भरतपुर

स्वच्छता सर्वे में भरतपुर की रैंकिंग सुधरी: 279 से 249वें स्थान पर पहुंची भरतपुर की स्वच्छता रैंकिंग, प्रदेश में 11वां स्थान

-पिछले चार स्वच्छता सर्वेक्षणों में इस बार बेहतर रहा परिणाम

भरतपुरAug 21, 2020 / 03:19 pm

Meghshyam Parashar

स्वच्छता सर्वे में भरतपुर की रैंकिंग सुधरी: 279 से 249वें स्थान पर पहुंची भरतपुर की स्वच्छता रैंकिंग, प्रदेश में 11वां स्थान

स्वच्छता सर्वे में भरतपुर की रैंकिंग सुधरी: 279 से 249वें स्थान पर पहुंची भरतपुर की स्वच्छता रैंकिंग, प्रदेश में 11वां स्थान

भरतपुर. स्वच्छता सर्वेक्षण 2020 में भरतपुर नगर निगम को देश में 249वीं और प्रदेश में 11वीं रैंक मिली है। जबकि वर्ष 2019 में देशभर में 279वीं व प्रदेश में 14वीं रैंक आई थी। पिछले चार स्वच्छता सर्वेक्षणों की बात करें तो इस बार का परिणाम बेहतर रहा है। भरतपुर की वर्ष 2016 में 395वीं रैंक थी। वर्ष 2017 में हम पिछड़कर 434 वीं रैंक पर पहुंच गए। वर्ष 2018 में फिर कुछ सुधार हुआ और 259 वीं रैंक पर आ गए थे। जबकि वर्ष 2019 में 279वीं रैंक आई है। राज्य स्तर पर वर्ष 2018 में 16वीं और वर्ष 2019 में 14वीं रैंक आई थी। आवासन एवं शहरी कार्य मंत्रालय की ओर से स्वच्छ भारत मिशन के तहत वर्ष 2016 से स्वच्छता सर्वेक्षण का आयोजन किया जाता है। इसमें आबादी के हिसाब से विभिन्न कैटेगरी में रैंक निर्धारित की जाती है। बेहतर रैंक लाने वाले शहरी निकायों को प्रधानमंत्री की ओर से सम्मानित किया जाता है। साथ ही स्वच्छता रैंक बेहतर लाने की कोशिश के साथ शहरों की सफाई व्यवस्था में भी सुधार होता है।
स्वच्छता सर्वेक्षण 2021 में सिटीजन फीडबैक के आधार पर रैंक

भले ही स्वच्छ सर्वेक्षण 2020 का परिणाम अब आया है, लेकिन 2021 के सर्वे के लिए नगरीय निकायों की कसरत पहले ही शुरू हो चुकी है। ऐसा इसलिए क्योंकि सरकार ने जुलाई से एमआईएस (मैनेजमेंट इंर्फोमेशन) भरवाना प्रारंभ कर दिया है। नए सर्वे में बीते साल के मुकाबले जो बड़ा फर्क आया है, उसके मुताबिक इस बार बाहरी टीम (डायरेक्टर आब्जर्वेशन) सर्वे करने नहीं आएगी। छह हजार अंकों के सर्वे में सिटीजन वाइस से ही रैंकिंग तय की जाएगी। इतना ही नहीं इस बार सर्वेक्षण तीन भाग में होगा। जबकि 2020 में चार भाग में हुआ था। खास बात यह है कि सर्टिफिकेट वले भाग में ओडीएफ और जीएफसी के साथ इस बार वाटर प्लस सर्वे को भी जोड़ा गया है। इसमें शहर से निकलने वाले गंदे पानी का ट्रीटमेंट और उसके वापस उपयोग की स्थिति को भी परखा जाएगा।
निगम प्रशासन का दावा…इसलिए सुधरी रैंकिंग

-सफाई टीम की सतत निगरानी, उपलब्ध संसाधनों का समुचित उपयोग व प्रबंधन कर प्रयास किए गए।
-घर-घर कचरा संग्रहण के कार्य में सुधार हुआ।
-शहर के सभी रहवासी व व्यावसायिक क्षेत्रों में दिन में दो बार निरंतर सफाई का कार्य जारी रहा।
-व्यावसायिक क्षेत्रों में रात्रिकालीन सफाई व्यवस्था में सुधार हुआ।
-शहर के कुछ क्षेत्रों को कचरा पात्र मुक्त भी कराया गया।
-शहर में छोटे-बड़े नाले व नालियों की प्लान बनाकर सफाई कराई गई।
-निरंतर बेहतर प्रयास किए गए। इसका परिणाम 30 अंकों के सुधार के रूप में प्राप्त हुआ है। नगर निगम की ओर से आगामी सर्वेक्षणों में बेहतर परिणाम के लिए प्रयास किए जाएंगे। इसमें मुख्य रूप से केंद्रीयकृत प्रसंस्करण संयंत्र की स्थापना व तरल अपशिष्ठ प्रबंधन के लिए एसटीपी प्लांट शुरू कराया जाएगा।
नीलिमा तक्षक
आयुक्त नगर निगम

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