पूर्व में भी राज्य सरकार द्वारा मनमाने आदेश जारी कर भयंकर गर्मी में शिक्षकों द्वारा 23 जून से स्कूल खोलने के आदेश जारी किए गए और बच्चे 1 जुलाई से ही स्कूल आएंगे फिर ऐसा क्यों। जबकि पिछले कई वर्षों से स्कूल 1 जुलाई को ही खोली जाती रही है। इस आदेशानुसार 8 दिन की ग्रीष्मकालीन छुट्टियां घटाकर शीतकालीन छुट्टियां बढ़ाई गई थी, परंतु फिर से शिक्षा विभाग द्वारा नया प्रयोग कर शीतकालीन अवकाश अत्यधिक सर्दी पढ़ने पर मौसम के अनुसार ही तय किया जाएगा।
ये तुगलकी फरमान न्यायोचित नहीं है। विभिन्न शिक्षक संगठनों का कहना है कि शिविरा पंचांग अनुसार विभागीय अवकाश नहीं किए जाते हैं तो फिर राज्य सरकार के अन्य विभागों जैसे ही स्कूलों में भी साप्ताहिक शनिवार व रविवार का अवकाश दिया जाना चाहिए। फाइव डे वीक प्रणाली लागू कर शिक्षकों को भी 15 उपार्जित अवकाश के बजाय 30 उपार्जित अवकाश दिए जाएं।