पुलिस अधीक्षक नरेंद्रसिंह मीना ने बताया कि शिव थाना क्षेत्र के रामपुरा में शुक्रवार रात अज्ञात आरोपियों द्वारा घर में घुस कर लूट की वारदात का मामला पीड़िता भावना पत्नी सिरीश आहिर ने दर्ज करवाया। रिपोर्ट में बताया कि दो अज्ञात लोग पहुंचे और खुद को पुलिसकर्मी बताते हुए 5 लाख रुपए व सोने-चांदी के आभूषण लूट लिए।
पुलिस ने मामले की गंभीरता को देखते डिप्टी मानाराम गर्ग के सुपरवीजन में थानाधिकारी दिनेश लखावत के नेतृत्व में स्पेशल टीम बनाई। टीम ने जांच पड़ताल कर लूट की वारदात का महज 24 घंटे में पर्दाफाश कर पांच आरोपियों को गिरफ्तार किया। पुलिस ने आरोपी कांस्टेबल जगदीश पुत्र चांदाराम निवासी चाडी हॉल कांस्टेबल पुलिस लाइन बाड़मेर के अलावा जेठाराम पुत्र बाबूलाल निवासी झिंझनियाली जैसलमेर, गजाराम पुत्र बंशीलाल निवासी महाबार, बंशीलाल पुत्र मंगलाराम निवासी महाबार, मदनसिंह पुत्र अर्जुनसिंह निवासी लखा को गिरफ्तार किया गया।
काश्तकार ने दी थी कांस्टेबल को नकदी होने की जानकारी
पीड़ित सिरीश ने शिव में खेत खरीदा था और वहां पर आरोपी जेठाराम के अलावा पिता बंशीलाल व पुत्र गजाराम काश्तकार थे। इनमें से जेठाराम की कांस्टेबल के साथ दोस्ती थी। आरोपी जेठाराम को यह जानकारी थी कि सिरीश कुछ समय पहले गुजरात में जमीन बेचकर यहां आया था। ऐसे में उसके घर में नकदी और आभषूण थे। यह बात उसने कांस्टेबल दोस्त को बताई थी। इसके बाद कांस्टेबल सहित पांचों ने मिलकर मोटी रकम हथियाने के लिए लूट का षड्यंत्र रचा। इस दौरान शुक्रवार रात को मदनसिंह सहित पांचों एक जगह एकत्रित हुए। वहां से जेठाराम के बताए अनुसार बाइक पर कांस्टेबल जगदीश और मदनसिंह सिरीश के घर रामपुरा पहुंचे। पूछताछ में यह भी सामने आया है कि पीड़ित ने खेत खरीदा था, उसमें मालिक के रूप में बंशीलाल का नाम दर्ज है।
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