शाहजहांपुर में स्थित विनीता ट्रैक्टर एजेंसी चलाने वाले महिंद्रा व टीवीएस कंपनी के डीलर हैं। जीएसटी टीम ने कंपनी के अभिलेखों की जांच पड़ताल की। इस दौरान डाटा विश्लेषण के आधार पर पाया गया कि व्यापारी ने पिछले दो सालों में 116 करोड़ रुपये के माल की बिक्री दिखाई थी। इसमें 21 करोड़ कर देना स्वीकार किया गया था। परन्तु सभी कर आईटीसी से समायोजित करते हुये 358 रुपये नकद टैक्स के रूप में जमा किया गया था। इसकी वजह से व्यापारी द्वारा दिए गए विवरण की जांच में वित्तीय वर्ष 22-23 में दाखिल प्रपत्रों 3बी में आर-1 की तुलना में छह करोड़ की कम बिक्री दिखाते हुए 1.10 करोड़ कम टैक्स अदा किया गया।
विनीता ट्रैक्टर्स के मालिक ने वित्तीय वर्ष 22-23 हेतु दाखिल 3बी में 2ए में उपलब्ध आईटीसी से अधिक आईटीसी क्लेम करते हुए देय टैक्स का समायोजन किया गया था। इसकी वजह से उक्त विंदुओं के आधार पर व्यापारी के प्रतिष्ठान की जांच की गई। इसमें जांच के दौरान पाए गए तथ्यों के आधार पर व्यापारी ने अपनी भूल स्वीकार की है। जीएसटी टीम ने उस पर करीब 1.2 करोड़ कम टैक्स जमा किया था। जिसमें से व्यापारी ने 32 लाख डीआरसी-3 के माध्यम से तुरंत जमा किए। बकाया 90 लाख रुपये जमा करने के लिए व्यापारी ने एक सप्ताह का समय मांगा है। एक सप्ताह में रुपये जमा न करने पर व्यापारी के बैंक खातों को फ्रीज करने की कार्रवाई की जाएगी।