बताया जा रहा है कि प्रदर्शनकारी पुलिस की बैरिकेडिंग को तोड़ कर सुवर्ण विधान सौधा की ओर बढ़ने की कोशिश कर रहे थे। इसी दौरान लिंगायत पंचमसाली समुदाय के लोगों और सुरक्षाकर्मियों के बीच में झड़प हो गई। पुलिस ने उन्हें खदेड़ने के लिए उन पर लाठीचार्ज कर दिया। पुलिस ने इस दौरान भाजपा के कई विधायकों और जयमृत्युंजय स्वामी के साथ-साथ उनके कई समर्थकों को एहतियातन हिरासत में ले लिया।
इस घटना के बाद सड़क पर जूते-चप्पल बिखरे पड़े मिले। लाठीचार्ज से पहले प्रदर्शनकारियों और पुलिस के बीच बहस भी हुई। बता दें कि स्वामी ने मंगलवार को बेलगावी में ट्रैक्टर रैली की योजना बनाई थी, लेकिन जिला प्रशासन ने निषेधाज्ञा लागू कर दी और शहर में ट्रैक्टरों के प्रवेश पर प्रतिबंध लगा दिया।
बैरंग लौटी मंत्रियो की टीम
बताया जाता है कि सुवर्ण विधानसौधा के पास कोंडास्कोपा गांव में आयोजित रैली को भाजपा विधायक बसनगौड़ा पाटिल यतनाल, अरविंद बेल्लद, सी. सी. पाटिल और मंत्री लक्ष्मी हेब्बालकर ने भी संबोधित किया। जयमृत्युंजय स्वामी ने घोषणा की कि जब तक राज्यसरकार समुदाय को 3बी से अन्य पिछड़ा वर्ग 2ए समूह में पुनर्वर्गीकृत करने की उनकी मांग पूरी नहीं कर देती, तब तक विरोध जारी रहेगा। बाद में मंत्रियों लक्ष्मी हेब्बालकर, एच. सी. महादेवप्पा, एम. सी. सुधाकर और अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक आर. हितेंद्र ने स्वामी से मुलाकात की और उन्हें मुख्यमंत्री की ओर से बुलाई गई बैठक में शामिल होने के लिए कहा। लेकिन स्वामी ने मना कर दिया।
उन्होंने मांग की कि मुख्यमंत्री रैली में आएं, प्रदर्शनकारियों को संबोधित करें और ठोस आश्वासन दें कि उनकी मांग पूरी की जाएगी। हेब्बालकर ने संत और समिति के अन्य नेताओं से बार-बार सुवर्ण विधान सौधा में बैठक के लिए आने का आग्रह किया। लेकिन वे सहमत नहीं हुए। बाद में मंत्री विरोध स्थल से चले गए।