सरकार हर बार आशा कार्यकर्ताओं को झूठे आश्वासन देती आ रही है।
उन्होंने कहा कि आशा कार्यकर्ता वेतन वृध्दि और विभिन्न मांगों को लेकर अनिश्चितकालीन हड़ताल करने वाली हैं। सरकार और केन्द्र सरकार से हर माह 6 हजार रुपए वेतन दिया जा रहा है। कांग्रेस ने कम से कम 12 हजार रुपए वेतन देने की सिफारिश की थी।
प्रदेश मेें 42 हजार आशा कार्यकर्ता प्रदेश मेें 42 हजार आशा कार्यकर्ता हैं। कोविड-19 की रोकथाम के लिए कार्यकर्ता वारियर्स की तरह काम कर रही हैं। तीन आशा कार्यकताओं की मौत भी हुई है। सरकार ने अभी तक मुआवजे का भुगतान नहीं किया है। उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार केवल भ्रष्टाचार में लिप्त है। रातों-रात तबादले होने लगे हैं। गत आठ माह में एक लाख से अधिक सरकारी कर्मचारियों का तबादला किया गया।
आशा कार्यकर्ताओं की हड़ताल की चेतावनी
मंड्या. मद्दूर तहसील में कोरोना के मामले बढऩे पर स्वास्थ्य विभाग अधिकारी के साथ विधायक डी.सी.तमन्ना गौडा ने बैठक कर जानकारी ली। बैठक में तहसीलदार विजयकुमार, अयोग्य अधिकारी मच्चेगौड़ा मौजूद थे। कार्यक्रम के बाद डीसी बैंक व मंड्या दुग्ध उत्पादन सहकारी समिति के संयुक्त तत्वावधान में 229 आशा कार्यकर्ताओं को 3000 रुपए का चेक प्रदान किया।
उधर, केआरपेट तहसील के कोप्पल गांव में एक सप्ताह पहले आशा कार्यकर्ता पर हमला करने वाले व्यक्ति के खिलाफ कार्रवाई नहीं होने पर आशा कार्यकर्ताओं ने तहसीलदार शिवमूर्ति को ज्ञापन सौंपा। आशा कार्यकर्ताओं ने न्यूनतम वेतन 12 हजार रुपए नहीं करने पर 10 जुलाई से हड़ताल पर जाने की चेतावनी दी है।