करौंधा थाना क्षेत्र अंतर्गत ग्राम पंचायत जवाहरनगर के चर्रापारा निवासी 48 वर्षीया बेलासी बाई पिता भाऊका का विवाह ग्राम पंचायत लरिमा के सीधा टोली में हुआ था। कुछ वर्ष पहले उसके पति के निधन हो जाने के बाद वह अपने मायके चर्रापारा में रह रही थी।
करीब एक वर्ष पूर्व उसकी इकलौती बेटी सनियारो का विवाह हो गया और वह अपने पति ज्योति प्रकाश के साथ हिमाचल प्रदेश गई है। इधर बेलासी बाई घर में अकेली रह रही थी। वह मुर्गी-बकरी पालन करती थी। उसे बीते शनिवार की दोपहर तक देखा गया था। इसके बाद वह नहीं दिख रही थी।
वह कभी दूसरों के घर घूमने चली जाती थी और वापस आ जाती थी। इस कारण परिजन ज्यादा ध्यान नहीं दे पाए। इधर सोमवार की दोपहर बाद तक भी वह दिखाई नही दी। उसके घर से बकरियों का शोर सुनाई दिया तब उसके चाचा सिरसाय सहित अन्य लोग वहां पहुंचे। बकरियों को खोल कर जब भीतर गए तो वहां का नजारा देखकर चौंक गए।
बेलासी का शव सड़ी-गली हालत में पड़ा हुआ था, वहां खून के धब्बे भी थे। पास ही झोला में एक मरा हुआ मुर्गा भी पड़ा था। इसकी सूचना पर मंगलवार को कुसमी एसडीओपी रितेश चौधरी ने थाना प्रभारी करौंधा देवेंद्र सिंह टेकाम के साथ घटनास्थल पर जांच की। इसके बाद शव को पीएम हेतु भेजा।
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कुछ संदेहियों से पूछताछ जारी
पुलिस ने मामले में जांच प्रारंभ कर दी है। प्रथमदृष्ट्या मुर्गा के पैसे के लेन-देन को लेकर हुए विवाद में भी मृतका की हत्या करने की आशंका जताई जा रही है। पुलिस कुछ संदिग्धों से पूछताछ कर रही है। वहीं कुसमी एसडीओपी रितेश चौधरी ने कहा कि जल्द ही मामले का खुलासा किया जाएगा।