Currency Note Shortage: नहीं के बराबर मिल रहे नोट
Currency Note Shortage: वहीं ग्राहक भी खरीदारी करने में असहज महसूस कर रहे हैं। पटेल बुक डिपो के संचालक गौकरन लाल पटेल ने बताया कि बाजार में 10 और 20 रुपए के नोट न के बराबर मिल रहे हैं। जो इक्का-दुक्का नोट आते हैं, वे अक्सर फटे या पुराने होते हैं। इस कारण ग्राहकों के साथ लेन-देन करने में समस्याएं उत्पन्न हो रही है। थमा रहे 200 या 500 रुपए के नोट
ग्राहक अक्सर 200 या 500 रुपए के नोट थमा देते हैं। इससे कठिनाई होती है। बाजार में इस स्थिति को लेकर व्यापारी बेहद चिंतित हैं और उन्होंने बैंकों से अपील की है कि 10 और 20 रुपए के नोटों की पर्याप्त मात्रा में सप्लाई की जाए, ताकि बाजार की गतिविधियां सुचारू रूप से चल सकें।
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गौरतलब है कि वित्त वर्ष 2023-24 में मौजूद कुल करेंसी में 500 रुपए के वेल्यू वाले नोट की हिस्सेदारी मार्च, 2024 तक 86.5 थी। 31 मार्च, 2024 तक मात्रा के हिसाब से 500 रुपए के सर्वाधिक 5.16 लाख नोट मौजूद थे, जबकि 10 रुपए के नोट 2.49 लाख संख्या के साथ दूसरे स्थान पर रहे। हालांकि, छोटे नोटों की कमी की शिकायतें अक्सर आती ही रहती हैं। रिजर्व बैंक ने वित्त वर्ष 2023-24 में आरबीआई ने नोट प्रिंटिंग पर 5,101 करोड़ रुपए खर्च किए थे, वहीं, एक साल पहले की इसी अवधि यानी 2022-23 में आरबीआई (RBI) ने नोट की प्रिंटिंग (Note Printing) पर 4,682 करोड़ रुपए खर्च किए गए थे।