बालोद

नगरीय निकाय चुनाव नजदीक देख पार्षद व अध्यक्ष को होने लगी विकास कार्यों की चिंता

नगरीय निकाय के पार्षदों को उनके वार्डों में विकास कार्य कराने के लिए शासन द्बारा सालाना राशि दी जाती है। अध्यक्ष को 30 लाख व पार्षदों के लिए सालाना 4.50 लाख रुपए दिए जाते हैं। लेकिन इस साल शासन ने अध्यक्ष व पार्षद निधि नहीं दी है जबकि यह चुनावी वर्ष है और अब नगरीय निकाय चुनाव की तैयारी शुरू हो गई है।

बालोदSep 14, 2024 / 10:26 pm

Chandra Kishor Deshmukh

Municipal Corporation Balod नगरीय निकाय के पार्षदों को उनके वार्डों में विकास कार्य कराने के लिए शासन द्बारा सालाना राशि दी जाती है। अध्यक्ष को 30 लाख व पार्षदों के लिए सालाना 4.50 लाख रुपए दिए जाते हैं। लेकिन इस साल शासन ने अध्यक्ष व पार्षद निधि नहीं दी है जबकि यह चुनावी वर्ष है और अब नगरीय निकाय चुनाव की तैयारी शुरू हो गई है। संभवत: नवंबर माह में आचार संहिता भी लग सकती है लेकिन अभी तक शासन द्वारा पार्षद व अध्यक्ष निधि जारी नहीं करने से विपक्ष इस पर अब सवाल उठा रहा है। कहीं यह मामला नगरीय निकाय चुनाव में असर न डाल दें क्योंकि इसी राशि से पार्षद अपने वार्ड का विकास कार्य कराते हैं। अध्यक्ष भी जरूरत के हिसाब से अध्यक्ष निधि की राशि से ही विकास कार्य कराते हैं। इस मामले में भाजपा व कांग्रेस के पार्षद भी कह रहे हैं कि सरकार नगर पालिका के जनप्रतिनिधियों को मिलने वाली निधि को अनिवार्य रुप से जारी करे।

अध्यक्ष को 37.50 लाख तो पार्षद को सालाना 4.50 लाख रुपए मिलता है विकास कार्यों के लिए

मिली जानकारी के मुताबिक नगर पालिका में जनसंख्या के अनुसार पार्षद व अध्यक्ष निधि तय की गई है। बालोद नगर पालिका के अंतर्गत अध्यक्ष निधि 37.50 लाख है। वहीं पार्षद व एल्डरमेन निधि 4.50 लाख रुपए सालाना है। इसी राशि से अपने वार्ड व नगर में नगर पालिका अध्यक्ष व पार्षद काम करा सकते हैं। लेकिन यहां अभी तक शासन ने अध्यक्ष व पार्षद निधि जारी की ही नहीं है।
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पार्षदों ने कहा- मार्च माह में ही जारी हो जाती थी राशि

पार्षदों ने बताया कि पहले मार्च माह में ही अध्यक्ष व पार्षद निधि जारी हो जाती थी। लेकिन प्रदेश में सरकार बदली तो राशि जारी करने का भी कोई निश्चित समय नहीं है। अभी तक यह राशि जारी हो जानी थी पर किस कारण इसे रोका गया है यह समझ से परे है। इस पर नगरीय निकाय प्रशासन व शासन को गंभीरता से ध्यान देने की जरूरत है।

कहीं नगरीय निकाय चुनाव में विपक्ष के लिए मुद्दा न बन जाए

संभवत: नवंबर माह में आचार संहिता लग सकती है। ऐसे में अब लगभग डेढ़ माह का ही समय बचा हुआ है। बड़ी बात यह है कि आखिर यह राशि जारी कब होगी। होगी या भी नहीं लेकिन अभी तक यह राशि जारी नहीं करने से नगर पालिका के पार्षदों व अध्यक्ष में नाराजगी जरूर दिखाई दे रही है।
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नगर में हैं 20 के 20 पार्षद

बालोद नगर पालिका में कुल 20 वार्ड हैं और 20 पार्षद हैं व एक नगर पालिका अध्यक्ष। इन सभी के लिए सरकार यह राशि जारी करती है। मिली जानकारी के मुताबिक यह स्थिति जिले के दो नगर पालिका व 6 नगर पंचायत की है। यह राशि जनसंख्या के अनुसार मिलती है।

राशि जल्द जारी करनी चाहिए

नगर पालिका अध्यक्ष विकास चोपड़ा ने कहा कि कांग्रेस की सरकार थी तो कभी ऐसा नहीं हुआ। समय पर राशि जारी हो जाती थी। लेकिन जब से सरकार भाजपा की आई है तब से सब गड़बड़ चल रही है। इस साल की अध्यक्ष व पार्षद निधि तो अभी तक जारी नहीं हुई है। भाजपा सरकार का कार्यकाल समझ से परे है। जल्द से जल्द अध्यक्ष व पार्षद निधि जारी करनी चाहिए।

सरकार क्यों देरी कर रही है, यह समझ से परे

नपा बालोद में जल सभापति योगराज भारती ने कहा कि भाजपा सरकार व नगरीय निकाय प्रशासन को अच्छी तरह से मालूम है कि अध्यक्ष व पार्षद निधि से शहर में कार्य होते हैं। पार्षद भी अपने क्षेत्र के जरुरी कार्यों का अनुमोदन कराकर काम करा सकते हैं। लेकिन अध्यक्ष व पार्षद निधि जारी करने में सरकार क्यों देरी कर रही है, यह समझ से परे है।

जल्द से जल्द पार्षद निधि जारी करें

वार्ड-2 के पार्षद कमलेश सोनी ने कहा कि शासन से मांग करेंगे कि जल्द से जल्द पार्षद निधि जारी करें। पार्षद निधि का उपयोग वार्ड के जरूरतमंद कार्यों में किया जाता है। अभी तक इस साल की पार्षद निधि नहीं आई है।

जनहित का है मामला

वार्ड-3 के पार्षद मोहन कलिहारी ने कहा कि यह जनहित का मामला है। इसमें सरकार गंभीरता से सोचकर पार्षद निधि जारी करे। इसकी मांग नगरीय प्रशासन मंत्री से दोबारा करेंगे।

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