बालाघाट

डंके की चोट पर सरकारी तालाब से मुरूम का किया जा रहा अवैध खनन

जानकारी के देने के बावजूद कार्रवाई नहीं कर रहे जिम्मेदार
जनपद क्षेत्र के बडग़ांव पंचायत के नयाटोला सरकारी तालाब का मामला
अवैध खनन से बिगड़ रही तालाब की सूरत
शासन प्रशासन को राजस्व की हो रही हानि

बालाघाटSep 22, 2024 / 05:17 pm

mukesh yadav

अवैध खनन से बिगड़ रही तालाब की सूरत

बालाघाट/लालबर्रा. जनपद क्षेत्र के सरकारी तालाब में किए जा रहे मुरूम के अवैध खनन पर शायद जिम्मेदारों ने मिलीभगत कर ली है। तभी तो बेखौफ होकर किए जा रहे अवैध खनन को लेकर कार्रवाई तो दूर जांच तक नहीं करवाई जा रही है। मामला जनपद क्षेत्र की ग्राम पंचायत बडग़ांव के नया टोला से सामने आया है। यहां के एक सरकारी तालाब से बकायदा जेसीबी मशीन लगाकर बिना अनुमति बड़ी मात्रा में मुरुम का अवैध खनन कर परिवहन किया जा रहा है। लेकिन पंचायत व राजस्व विभाग का कोई भी जिम्मेदार मामले को लेकर गंभीर नहीं है।
पत्रिका ने पूरे मामले की पड़ताल की। इस दौरान सामने आया कि नया टोला तालाब से बगैर अनुमति मुरूम का अवैध खनन कर डंपरों से परिवहन किया जा रहा है। डंपर में भरे मुरूम को पांगा तालाब के सामने शीतल विहार में खाली करवाया जा रहा है। यहां के ग्रामीणों से पूछने पर उन्होंने बताया कि डंपरों से मुरूम सरकारी तालाब मदनलाल नागेश्वर के खेत के पास से लेकर आए है। उमरिया वाले चौधरी की जेसीबी मशीन से मुरूम खनन किया गया है। कॉलोनी, सडक़ निर्माण सहित अन्य कार्यो में मुरुम का उपयोग किया जा रहा है।
नहीं ली गई अनुमति
ग्राम पंचायत बडग़ांव के सचिव नंदकिशोर बिसेन के अनुसार मुरुम खनन को लेकर पंचायत से कोई लिखित अनुमति नहीं ली गई है न ही उन्हें खनन के मामले की कोई जानकारी है। ग्रामीणों को जानकारी लगने पर उन्होंने डंपरों को रोकने का प्रयास भी किया गया। लेकिन परिवहन कार्य में लगे कर्मचारियों ने थाने में मुरुम जाने का हवाला देकर उन्हें शांत करवा दिया।
बिगड़ रही तालाब की सूरत
बडग़ांव के ग्रामीणों के अनुसार तालाब में मुरुम के अवैध खनन से तालाब का स्वरूप बिगड़ रहा है। तालाब किनारे गहरे गढ्डे बन रहे हैं। बारिश होने पर इनमें पानी भर जाएगा और फिर अप्रिय घटना होने की बात से इंकार नहीं किया जा सकता है। ग्रामीणों के अनुसार उनके मवेशी भी तालाब में पानी पीने व नहाने आदि जाया करते हैं। ऐसे में यदि किसी मवेशी की गहरे गड्ढे में डूबने से मौत होती है तो उसकी जिम्मेदारी पंचायत और राजस्व विभाग की होगी।
जांच का हवाला दे रहे जिम्मेदार
इस पूरे मामले में पंचायत प्रतिनिधियों की भूमिका संदिग्ध होना सामने आ रही है। पूरे मामले में तहसीलदार लालबर्रा एवं एसडीएम वारासिवनी से दूरभाष पर चर्चा की गई। इस दौरान संबंधित अधिकारियों ने जांच व कार्रवाई करने की बात कही है। जिनका कहना है कि आरआई पटवारी को मौके पर भिजवाकर जांच करवाई जाएगी।
वर्सन
अवैध खनन से संबंधित हमारे पास कोई जानकारी नहीं है। ना ही किसी प्रकार की अनुमति पंचायत की ओर से दी गई है। मुरुम खनन के संबंध में मेरे द्वारा वरिष्ठों को जानकारी दी जाएगी।
नंदकिशोर बिसेन, सचिव बडग़ांव
हमने तहसीलदार और राजस्व अमले को बता दिया है। वे अपने स्तर पर मौके पर जाकर देख लेंगे।
राजीव रंजन, एसडीएम वारासिवनी

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